नयी दिल्ली: कोरोना की तीसरी लहर की आशंकाओं के बीच दिल्ली में 37,000 बेड की व्यवस्था की जा रही है। यह जानकारी दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन ने मंगलवार को दी। उन्होंने कहा कि कोविड-19 की तीसरी लहर के अंदेशे के मद्देनजर राष्ट्रीय राजधानी में चिकित्सा के बुनियादी ढांचे को मजबूत किया जा रहा है और कोरोना वायरस के मरीजों के लिए 37,000 बेड की व्यवस्था की जा रही है। जैन ने यह भी कहा कि भले ही संक्रमण दर कम हो रही हो और बीते कुछ दिनों में वायरस ने किसी की जान नहीं ली हो, फिर भी दिल्ली सरकार सतर्कता बरतना नहीं छोड़ रही है।
जैन ने मंगलवार को राष्ट्रीय राजधानी में कोविड-19 की मौजूदा स्थिति के लिए की जा रही तैयारियों का जायजा लेने के लिए स्वास्थ्य केंद्रों का निरीक्षण किया। उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय राजधानी में सोमवार को संक्रमण दर 0.04 फीसदी रही और 17 नए मामले आए थे तथा बीते तीन दिन में किसी की मौत नहीं हुई है।
ताजे स्वास्थ्य बुलेटिन के मुताबिक, मंगलवार को भी किसी शख्स की संक्रमण से मौत नहीं हुई। मंत्री ने कहा कि कोविड-19 मरीजों के लिए 37,000 बेड तैयार किए जा रहे हैं, जिनमें से 12,000 बेड आईसीयू के हैं। उन्होंने कहा कि ऑक्सीजन क्षमता के साथ ही जरूरी दवाओं की आपूर्ति को भी उचित तरीके से मजबूत किया जा रहा है।
स्वास्थ्य विभाग की ओर से जारी बयान में जैन के हवाले से कहा गया है कि बच्चों और बुजुर्गों के लिए भी विशेष इंतजाम किए जा रहे हैं और दिल्ली सरकार कोविड-19 की स्थिति पर करीब से नजर रखे हुए है और अन्य राज्यों की स्थिति को भी देख रही है जहां स्कूलों को खोल दिया गया है। दिल्ली सहित देश के अन्य हिस्सों में कोरोना वायरस की दूसरी लहर अप्रैल-मई में आई थी और जबर्दस्त तबाही मचाई थी।
इस दौरान अस्पतालों में बिस्तर और ऑक्सीजन की किल्लत हो गई थी। मंत्री ने कहा, “हम सभी जरूरी इंतजाम कर रहे हैं, लेकिन हमारा ध्यान यह सुनिश्चित करने पर है कि दिल्ली में तीसरी लहर न आए। हालांकि, स्थिति को बेहतर बनाने के लिए वैक्सीनेशन अहम है। हर गुजरते दिन के साथ, वैक्सीन की आपूर्ति बढ़ाई जानी चाहिए और दिल्ली में कोविड-19 की मौजूदा स्थिति को बेहतर बनाने के लिए वैक्सीनेशन तेजी से किया जाना चाहिए।”
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