छत्तीसगढ़ के बीजापुर के रहने वाले एक नक्सली ने आज सरेंडर कर दिया है। पुलिस के लिए ये बड़ी सफलता मानी जा रही है। बता दें कि सरेंडर करने वाले नक्सली के ऊपर 6 लाख रुपये का इनाम घोषित था। नक्सली की पहचान बीजापुर निवासी गणेश गट्टा पुनेम के रूप में हुई है। नक्सली गणेश गट्टा पुनेम ने महाराष्ट्र के गढ़चिरौली में आत्मसमर्पण किया है। वहीं सरेंडर करने की वजह से अब गणेश गुट्टा पुनेम को केंद्र और राज्य सरकार की पुनर्वास नीति के तहत पांच लाख रुपये दिए जाएंगे।
कई मुठभेड़ों में था शामिल
दरअसल, महाराष्ट्र के गढ़चिरौली जिले में एक नक्सली ने मंगलवार को पुलिस के सामने आत्मसमर्पण किया। नक्सली पर 6 लाख रुपये का इनाम घोषित था। एक अधिकारी ने इस बात की जानकारी दी। पुलिस के एक बयान के अनुसार छत्तीसगढ़ के बीजापुर जिले के रहने वाले गणेश गट्टा पुनेम ने पुलिस उपमहानिरीक्षक (अभियान) जगदीश मीणा के सामने सरेंडर किया। गणेश गट्टा पुनेम को 2017 में भमरामगढ़ एलओएस से संबद्ध आपूर्ति दल का सदस्य नियुक्त किया गया था। अगले साल उसे इस दल का उपकमांडर बना दिया गया। पुलिस ने बताया है कि वह 2017 और 2022 में बीजापुर में क्रमश: मिर्तूर और टिम्मेनार मुठभेड़ों में शामिल रहा था।
पुर्नवास में मदद करेगी सरकार
पुलिस के मुताबिक गणेश गट्टा पुनेम ने कहा कि उसने चिकित्सा सुविधाओं के अभाव, विकास कार्यों के लिए तय रकम में वरिष्ठों द्वारा हेराफेरी एवं अन्य वजहों से सरेंडर किया है। पुलिस ने कहा कि आत्मसमर्पण करने वाले इस नक्सली को केंद्र और राज्य सरकार की पुनर्वास नीति के अनुसार पांच लाख रुपये मिलेंगे। बयान में कहा गया है कि पिछले दो सालों मे 14 दुर्दांत माओवादियों ने गढ़चिरौली पुलिस के सामने आत्मसमर्पण किया है। गढ़चिरौली के पुलिस अधीक्षक नीलोत्पल ने आश्वासन दिया है कि आत्मसमर्पण करने और समाज की मुख्य धारा से जुड़ने को इच्छुक नक्सलियों को सभी जरूरी सहायता उपलब्ध कराई जाएंगी। (इनपुट- भाषा)
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