पटना: दरभंगा के DMCH अस्पताल में पूर्व सांसद पप्पू यादव की तबीयत बिगड़ने के बाद मेडिकल बोर्ड ने उन्हें पटना भेजने की सिफारिश की है। पप्पू यादव की मेडिकल रिपोर्ट में बताया गया कि उनकी किडनी में स्टोन है। लिपिड प्रोफाइल भी बढ़ा हुआ है। ऐसी स्थिति में उन्हें बेहतर इलाज के लिए पटना रेफर किया गया है। इससे पहले पूर्व सांसद पप्पू यादव की एक्स-रे, अल्ट्रासाउंड और इको जांच सरकारी खर्चे पर शहर के एक निजी अस्पताल में कराया गया था। जांच रिपोर्ट की समीक्षा के बाद मेडिकल बोर्ड ने यह फैसला लिया।
पप्पू यादव को बीरपुर उपकारा से इलाज के लिए बृहस्पतिवार को दरभंगा चिकित्सा महाविद्यालय अस्पताल (डीएमसीएच) भेजा गया था । उन्हें 32 साल पुराने अपहरण एक मामले में 11 मई को गिरफ्तार किया गया था और सुपौल जिले के बीरपुर उपकारा में न्यायिक हिरासत में रखा गया था। पप्पू यादव की स्वास्थ्य समस्या को देखते हुए बुधवार को उनके स्वास्थ्य की जांच के लिए मेडिकल टीम गठित की गई थी। टीम की रिपोर्ट में कहा गया है कि पप्पू यादव को इलाज के लिए उच्च उपचार केंद्र में भेजने की आवश्यकता है जिसके आधार पर उनको बीरपुर उप कारा से डीएमसीएच भेजा गया था।
गौरतलब है कि बिहार के एक भाजपा सांसद निधि से खरीदे गए दर्जनों एंबुलेंस के कोरोना महामारी के बावजूद इस्तेमाल नहीं किए जाने को उजागर कर हाल ही में सुर्खियों में आए पप्पू यादव को पटना पुलिस ने पिछले मंगलवार को उनके पटना स्थित आवास से लॉकडाउन नियमों के उल्लघंन के आरोप में हिरासत में लिया था। बाद में मधेपुरा जिले के कुमारखंड थाने में वर्ष 1989 में दर्ज एक मामले में फरार रहने के आरोप में उन्हें गिरफ्तार करके मधेपुरा पुलिस को सौंप दिया गया था।
मंगलवार की देर रात वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए अदालत द्वारा इस इस मामले की सुनवाई के बाद पप्पू यादव को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में सुपौल जिले के बीरपुर में बने क्वारंटाईन उपकारा में भेज दिया गया था। गिरफ्तारी के बाद ही पप्पू यादव अपनी बामारियों का हवाला देते हुए बेहतर चिकित्सा सुविधा की मांग करते हुए भूख हड़ताल पर बैठ गये थे और प्रशासनिक पहल पर बुधवार की संध्या उन्होंने भूख हड़ताल समाप्त कर दी थी।
इनपुट-भाषा