सासाराम: बिहार के सासाराम में आज मुख्यमंत्री नीतीश कुमार अपनी समाधान यात्रा के लिए पहुंचे हुए थे। लेकिन इस बीच एक ऐसा वाकया हुआ जिसने संवेदनाओं को झकझोर कर रख दिया। दरअसल, सीएम नीतीश के काफिले को लेकर सासाराम-आरा पथ को लगभग एक घंटे से ज्यादा समय तक के लिए सासाराम के मोकर के पास बंद करके रखा गया। इसके चलते सैकड़ों गाड़ियां घंटों तक फंसी रही। बड़ी बात है कि इस दौरान एक एंबुलेंस भी ब्रेन हेमरेज की एक महिला मरीज को लेकर फंसी रही लेकिन किसी ने उसे निकालने की जहमत नहीं उठाई।
विरोध करने पर भी नहीं दिया एंबुलेंस को रास्ता
नोखा से सासाराम की ओर एक मरीज को लेकर एंबुलेंस जा रही थी जिसे मोकर गांव के पास रोक दिया गया। घंटों मरीज और उसके परिजन परेशान दिखे। इस दौरान एंबुलेंस का सायरन बजता रहा, लेकिन किसी अधिकारी या पुलिसकर्मी ने उसे निकालने की कोशिश नहीं की। इसके बाद स्थानीय लोगों ने विरोध करना शुरू किया तब भी एंबुलेंस को रास्ता नहीं दिया गया। काफी देर बाद जब सीएम का काफिला गुजर गया, उसके बाद एंबुलेंस को जाने दिया गया। इस पूरे घटनाक्रम के दौरान मरीज की जान खतरे में पड़ी रही।
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एंबुलेंस को नहीं रोके जाने का प्रावधान
आपको बता दें कि यातायात नियमों में किसी भी VVIP प्रोटोकॉल के दौरान ट्रैफिक में एंबुलेंस को नहीं रोके जाने का प्रावधान है। खास तौर पर अगर एंबुलेंस में कोई गंभीर मरीज मौजूद हो तो उसे सबसे पहले निकाला जाता है। लेकिन यहां प्रशासन के अधिकारियों ने मुख्यमंत्री को को वरीयता दी।
(रंजन सिंह की रिपोर्ट)