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Hindi News विदेश अमेरिका ट्रंप और हैरिस के बीच 10 सितंबर को तय हुआ महाजंग का दिन, जानें राष्ट्रपति पद की चुनावी बहस में हार-जीत के क्या हैं मायने

ट्रंप और हैरिस के बीच 10 सितंबर को तय हुआ महाजंग का दिन, जानें राष्ट्रपति पद की चुनावी बहस में हार-जीत के क्या हैं मायने

अमेरिका में आगामी 5 नवंबर को होने वाले राष्ट्रपति चुनाव से पहले डेमोक्रेट उम्मीदवार कमला हैरिस और रिपब्लिकन उम्मीदवार डोनॉल्ड ट्रंप में एक बड़ा महामुकाबला होने जा रहा है। दोनों पक्षों की ओर से इसके लिए 10 सितंबर की तारीख तय कर दी गई है।

अमेरिकी राष्ट्रपति पद के लिए डेमोक्रेट उम्मीदवार कमला हैरिस और रिपब्लिकन उम्मीदवार डोनॉल्ड ट्रंप। - India TV Hindi Image Source : AP अमेरिकी राष्ट्रपति पद के लिए डेमोक्रेट उम्मीदवार कमला हैरिस और रिपब्लिकन उम्मीदवार डोनॉल्ड ट्रंप।

पाम बीच (अमेरिका): अमेरिका में इस साल होने वाले राष्ट्रपति पद के चुनाव को लेकर रिपब्लिकन उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रंप और डेमोक्रेटिक उम्मीदवार कमला हैरिस के बीच महाजंग की तारीख तय कर दी गई है। दोनों नेताओं के बीच आगामी 10 सितंबर को राष्ट्रपति पद को लेकर महाबस होनी है। इस चुनावी बहस के लिए दोनों नेताओं ने अपनी सहमति व्यक्त कर दी है। अब इसके लिए डोनॉल्ड ट्रंप और कमला हैरिस की चुनाव अभियान कमेटी ने जोरदार तैयारियां शुरू कर दी हैं। इससे पहले ट्रंप और राष्ट्रपति जो बाइडेन के बीच हुई बहस में डोनॉल्ड भारी पड़े थे। इसके बाद राष्ट्रपति जो बाइडेन पर इस बार चुनाव मैदान से हटने का दबाव बढ़ गया था। काफी ना-नुकुर के बाद बाइडेन चुनावी दौड़ से खुद को बाहर करने के लिए तैयार हुए। 

अब यह चुनाव पूरी तरह ट्रंप बनाम कमला हैरिस हो गया है। ऐसे में 10 सितंबर को दोनों उम्मीदवारों का आमना-सामना होगा। अमेरिकी व्यापारिक टेलीविजन प्रसारण नेटवर्क ‘अमेरिकन ब्रॉडकास्टिंग कंपनी’ (एबीसी) ने यह जानकारी दी। इस घोषणा से कुछ देर पहले ही ट्रंप ने एक संवाददाता सम्मेलन में कहा था कि उन्होंने तीन टेलीविजन नेटवर्क के समक्ष राष्ट्रपति पद के चुनाव की प्रक्रिया के तहत तीन बहसों का प्रस्ताव रखा है। उन्होंने कहा कि वे सितंबर में कुछ निश्चित तारीखों पर सहमत हैं।

बाइडेन के पद छोड़ने के बाद आया कमला हैरिस का नाम

बता दें कि 5 नवंबर को होने वाले राष्ट्रपति पद के चुनाव की प्रक्रिया के तहत प्रथम बहस ट्रंप और डेमोक्रेटिक पार्टी के पूर्व उम्मीदवार जो बाइडेन के बीच हुई थी। इस बहस में अमेरिका के मौजूदा राष्ट्रपति बाइडेन के खराब प्रदर्शन के बाद उन पर उम्मीदवारी छोड़ने के लिए चौतरफा दबाव था। बाद में बाइडेन ने अपनी उम्मीदवारी छोड़ते हुए हैरिस का नाम इसके लिए प्रस्तावित किया था। इसके बाद यह जंग और भी रोचक हो गई है।

चुनावी बहस में हार-जीत के मायने

अमेरिका में प्रेसिडेंशियल डिबेट का आरंभ से ही चलन रहा है। इसमें दोनों पार्टी की ओर से राष्ट्रपति पद के लिए फाइनल हो चुके उम्मीदवारों के बीच राष्ट्रीय मुद्दों पर आमजनों के बीच जोरदार और आमने-सामने की बहस होती है। इस दौरान दोनों नेताओं के बीच जमकर आरोप-प्रत्यारोप होते हैं। इसके साथ ही देश के लिए अपना विजन भी बताना होता है। इसके बाद यह तय होता है कि डिबेट में कौन भारी पड़ा या कौन कमजोर। इस बहस के आधार पर जनता व डेलिगेट्स संबंधित उम्मीदवार के पक्ष या विपक्ष में वोटिंग करने का मूड बनाते हैं। ऐसे में इस बहस में हार-जीत का मतलब असली चुनाव की दिशा और दशा तय होना है।    (एपी) 

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