ह्यूस्टनः अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा ने अंतरिक्ष में एक और इतिहास रच दिया है। अंतरिक्ष मिशन पर जाने वाली इस टीम में शामिल भारतीय मूल की अंतरिक्ष यात्री सुनीता विलियम्स और उनके सहयोगी बुच विल्मोर ने बोइंग के स्टारलाइनर अंतरिक्ष यान को अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (आईएसएस) से सफलतापूर्वक जोड़ दिया है। रास्ते में आई कुछ नई समस्याओं को दूर करने के बाद यह संभव हो पाया है। सुनीता विलियम्स ने जैसे ही अपने साथियों के साथ अंतरिक्ष स्टेशन में कदम रखा, वैसे ही वह खुशी के मारे झूमने लगी। इसके बाद साथियों ने उन्हें गले लग कर बधाई दी।
बता दें कि सुनीता विलियम्स (58) ने विल्मोर के साथ बुधवार को तीसरी बार अंतरिक्ष की यात्रा की और बोइंग के स्टारलाइनर अंतरिक्ष यान पर सवार होकर आईएसएस जाने वाले पहले सदस्य के रूप में इतिहास रच दिया। विलियम्स इस परीक्षण उड़ान के लिए पायलट हैं जबकि 61 वर्षीय विल्मोर इस मिशन के कमांडर हैं। नासा ने एक बयान में कहा कि बोइंग स्टारलाइनर अंतरिक्ष यान केप कैनवेरल स्पेस फोर्स स्टेशन से प्रक्षेपण के लगभग 26 घंटे बाद बृहस्पतिवार को दोपहर 1:34 बजे सफलतापूर्वक अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन पर पहुंच गया।
विलियम्स ने जाहिर की अंतरिक्ष में खुशी
विलियम्स ने प्रक्षेपण के दौरान समर्थन देने के लिए अपने परिवार और मित्रों का आभार जताया। उन्होंने कहा, ‘‘हमारे पास यहां एक और परिवार है, जो बहुत बढ़िया है। और हम अंतरिक्ष में आकर बहुत खुश हैं। इससे बेहतर कुछ नहीं हो सकता।’’ आईएसएस के रास्ते में, चालक दल ने अंतरिक्ष में पहली बार ‘मैन्युअल’ रूप से स्टारलाइनर उड़ाने सहित कई परीक्षण पूरे किए। दो स्टारलाइनर अंतरिक्ष यात्री, जो वर्तमान में स्टेशन पर रह रहे सात अन्य लोगों के साथ शामिल हैं, वे अंतरिक्ष में रहते हुए विभिन्न परीक्षणों में सहायता करेंगे और वैज्ञानिक प्रयोग करेंगे। (भाषा)
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