प्रवासियों के मुद्दे पर बदल गए ट्रंप के सुर, ग्रीन कार्ड को लेकर किया बड़ा वादा; भारतीयों को होगा डायरेक्ट फायदा
अमेरिका में राष्ट्रपति चुनाव को लेकर सियासत पारा चढ़ने लगा है। पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने प्रवासियों को लेकर अब तक के अपने सख्त रुख से उलट नरमी दिखाई है।
America Presidential Election: अमेरिका में राष्ट्रपति चुनाव को लेकर वादों का झड़ी लगनी शुरू हो गई। अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने भी चुनावी माहौल में वादों का पिटारा खोल दिया है। पहले जिन मुद्दों पर पहले वो आक्रामक रुख रखते थे अब उन्ही मामलों में उनके तेवर नरम पड़ गए है। एक इंटरव्यू में ट्रंप ने कहा है कि वो चाहते हैं जो विदेशी छात्र अमेरिका के कॉलेज से ग्रेजुएट कर रहे हैं उनको सीधे ग्रीन कार्ड मिले। ट्रंप से ‘ऑल-इन’ नाम के एक पॉडकास्ट में कंपनियों द्वारा बेहतर और प्रतिभाशाली लोगों को अमेरिका बुलाने के प्लान के बारे में पूछा गया था, जिसका जवाब देते हुए उन्होंने ये बात कही है।
प्रवासियों के विरोधी रहे हैं ट्रंप
गौर करने वाली बात यह है कि इससे पहले राष्ट्रपति चुनाव को लेकर प्रचार में ट्रंप प्रवासियों का अमेरिका विरोध करते रहे हैं। लेकिन उनका हालिया बयान बिल्कुल उलट है। ट्रंप इस मुद्दे पर आक्रामक रहे हैं और अवैध रूप से देश में रहने वाले प्रवासियों पर क्राइम करने, नौकरियां और सरकारी संसाधन चुराने का आरोप लगा चुके हैं। उन्होंने तो यहां तक कह था ''वे हमारे देश के खून में जहर घोल रहे हैं।''
बदल गए ट्रंप के बोल
इस बीच ट्रंप ने प्रवासियों को मुद्दे पर पलटी मारी है। इंटरव्यू के दौरान उन्होंने कहा कि मैं चाहता हूं कि आप अमेरिका के कॉलेज से जैसे ही ग्रेजुएट हों, आपको डिग्री के साथ अमेरिका में रहने के लिए ग्रीन कार्ड भी मिलना चाहिए। उन्होंने कहा कि इसमें जूनियर कॉलेज भी शामिल किए जाएंगे और राष्ट्रपति बनने के पहले दिन से मैं इस पर काम करना शुरू करुंगा। इसका सीधा मतलब यह है कि अगर ट्रंप चुनाव जीतते हैं तो अमेरिका में पढ़ने वाले छात्रों या भविष्य में वहां जाने वाले छात्रों को बड़ा लाभ मिलेगा।
अमेरिका में भारतीय छात्र
बता दें कि, भारत से हर साल हजारों छात्र हायर एजुकेशन के लिए अमेरिका जाते हैं। 2023 के डेटा के मुताबिक करीब दो लाख भारतीय छात्र अमेरिका से ग्रेजुएट और पोस्ट ग्रेजुएट कर रहे हैं। अमेरिका में सबसे ज्यादा ग्रीन कार्ड लेने वाले नागरिकों में भारत दूसरे स्थान पर है। CRS के सर्वे के मुताबिक 2022 में करीब 65960 लोगों ने अमेरिका का ग्रीन कार्ड लिया है।
जो बाइडेन ने चली थी चुनावी चाल
वैसे देखने वाली बात यह भी है कि, डोनाल्ड ट्रंप के रुख में बदलाव उस वक्त आया है जब हाल ही में इस तरह की खबर आई थी कि अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडेन चुनावी वर्ष में व्यापक कदम उठा रहे हैं जिससे अब तक बिना किसी वैध स्थिति के देश में रह रहे लाखों अप्रवासियों को राहत मिल सकती है और उनको अमेरिकी नागरिकता मिलने का रास्ता साफ हो सकता है। अमेरिकी राष्ट्रपति कार्यालय व्हाइट हाउस ने घोषणा की थी कि बाइडेन प्रशासन आने वाले महीनों में कानूनी स्थिति के बिना रह रहे अमेरिकी नागरिकों के कुछ जीवनसाथियों को स्थायी निवास और अंततः नागरिकता के लिए आवेदन करने की अनुमति देगा। वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारियों के अनुसार, इस कदम से पांच लाख से अधिक अप्रवासी लाभान्वित हो सकते हैं।
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