वाशिंगटन: अमेरिकी प्रतिनिधि सभा में पहली हिंदू सांसद तुलसी गबार्ड ने आतंकवाद को मौन एवं खुल्लमखुल्ला समर्थन मुहैया कराने और उन्हें भारत में पहुंच की अनुमति देने के लिए पाकिस्तान की आलोचना की और पाकिस्तान को दी जाने वाली सहायता में कटौती के लिए कांग्रेस के अपने सहकर्मियों के साथ मिलकर प्रयास करने का संकल्प लिया। तुलसी ने कहा कि पाकिस्तान आतंकवादी संगठनों को अपनी सीमा के भीतर संचालन की लगातार अनुमति देता रहा है, उन्हें सीमा पार करने देता रहा है और उन्हें बिना किसी जांच के भारत में पहुंचने की अनुमति देता रहा है।
उन्होंने कहा कि उरी में हाल में हुआ हमला गहरी चिंता का विषय है। इस हमले में 19 भारतीय जवान शहीद हो गए। तुलसी ने कहा, पाकिस्तानी सरकार के लोग आतंकवाद को मौन एवं खुल्लमखुल्ला सहमति देते रहे हैं। यह कोई नई बात नहीं है- हमलों का यह तरीका पिछले 15 वर्षों से अपनाया जाता रहा है और यह अब बंद होना चाहिए। हवाई से कांग्रेस की सदस्य तुलसी ने एक बयान में कहा, इसी लिए मैं पाकिस्तान को दी जाने वाली अमेरिकी सहायता में कटौती करने और पाकिस्तान की हिंसा रोकने के लिए उस पर दबाव बनाने के लिए कांग्रेस में लगातार काम कर रही हूं। अमेरिका सरकार ने अतीत में भी पाकिस्तान पर दबाव बढ़ाने के लिए कदम उठाए हैं और अब उसी रणनीति को अपनाने का समय आ गया है।
उन्होंने कहा कि पाकिस्तान को इन हमलों की जांच में पूरा सहयोग करना चाहिए, सीमा पार से होने वाले इन हमलों को तत्काल रोकने के लिए स्पष्ट कदम उठाने चाहिए और जिम्मेदार लोगों के खिलाफ मुकदमा चलाना चाहिए। तुलसी ने कहा, इन हमलों के मद्देनजर हम भारत के साथ एकजुट होकर खड़े हैं और हम आतंकवाद के खिलाफ इस लड़ाई में मिलकर काम करते रहेंगे।
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