वॉशिंगटन: अमेरिका के पिट्सबर्ग में शनिवार को यहूदियों के एक प्रार्थना स्थल पर हुई गोलीबारी में कम से कम 11 लोग मारे गए हैं। इस घटना में 3 पुलिसकर्मियों सहित कई अन्य घायल भी हुए हैं। बीते कुछ महीनों में यह अमेरिका की सबसे बड़ी गोलीबारी की घटनाओं में से एक है। हालांकि आधिकारिक रूप से अभी तक यह सूचना नहीं मिली है कि घटना में कितने लोग मारे गए हैं और कितने लोग घायल हुए हैं, लेकिन स्थानीय मीडिया के मुताबिक इस घटना में 11 लोगों की मौत हो गई है।
स्थानीय मीडिया में आई खबरों के अनुसार, पुलिस की जवाबी कार्रवाई में घायल होने के बाद हमलावर रॉबर्ट बोवर्स (46) ने आत्मसमर्पण कर दिया। खबरों के अनुसार हमलावर दाढ़ी वाला और श्वेत व्यक्ति है। घायल होने के कारण उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया है जहां पुलिस उससे पूछताछ कर रही है। FBI इसे घृणा अपराध मानकर घटना की जांच कर रही है। गोलीबारी करने से पहले हमलावर कथित रूप से भवन में घुसा और चिल्लाया ‘सभी यहूदियों को मर जाना चाहिए।’
राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने इसे बेहद दुखद स्थिति बताया। उन्होंने कहा, पिट्सबर्ग में जितना सोचा था हालात उससे बहुत ज्यादा दुखद हैं। हमला पिट्सबर्ग के स्किवरेल हिल में स्थित ट्री ऑफ लाइफ सिनगॉग में हुआ है। घटना के बाद ट्रंप ने कहा कि ऐसे अपराध करने वाले व्यक्ति को मौत की सजा दी जानी चाहिए। इस दुखद घटना के बाद ट्रंप ने आदेश दिया कि व्हाइट हाउस, सार्वजनिक मैदानों, सैन्य चौकियों, नौसैन्य केंद्रों और जहाजों पर लगे झंडे मृतकों के प्रति ‘शोक सम्मान' में 31 अक्टूबर तक आधे झुके रहेंगे। साथ ही उन्होंने कहा कि वह पिट्सबर्ग भी जाएंगे।
वहीं यहूदी राष्ट्र इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने घटना के बाद अमेरिका के साथ एकजुटता जताते हुए एक वीडियो संदेश में कहा, ‘पिट्सबर्ग के सिनगॉग में हुआ जानलेवा हमले से मेरा दिल बहुत दुखी है और मैं सदमे में हूं।’
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