वाशिंगटन: वैश्विक स्तर पर भारत ने एक बार फिर पाकिस्तान की पोल खोल दी है। यूएनएचआरसी में भारत की ओर से संयुक्त राष्ट्र के सचिव पवन कुमार बाधे ने पाकिस्तान में आंतकवाद को पनपने और अल्पसंख्यकों पर हो रहे अत्याचार का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान ने इस बात को नजरअंदाज किया है कि आतंकवाद मानवाधिकारों के हनन का सबसे खराब रुप है और आतंकवाद के समर्थक मानव अधिकारों का सबसे बुरा हनन करते हैं। इसके साध ही बाधे ने कहा कि पाकिस्तान के नेताओं ने स्वीकार किया है कि उनका देश आतंकवादी की फैक्ट्री बन गया है।
भारत ने संयुक्त राष्ट्र के मंच से कहा कि सरकार के खिलाफ बोलने वाले लोगों की पाकिस्तान में असाधारण हत्याएं कर दी जाती है। निंदा कानून लगाकर उन्हें जेल में डाल दिया जाता है। पाकिस्तान में हिंदू, ईसाइयों और अन्य अल्पसंख्यक समुदाय के लोगों का बड़े पैमाने पर उत्पीड़न किया जा रहा है। इन सब मामलों में राज्य की सुरक्षा एजेंसियां भी इन सब मामलों में शामिल होती हैं।
बाधे ने कहा कि इस मंच के सभी सदस्य इस बात से वाकिफ हैं कि पाकिस्तान आतंकवादियों को पेंशन देता है और संयुक्त राष्ट्र द्वारा प्रतिबंधित आतंकवादियों की सबसे ज्यादा संख्या भी इसी देश में है। उन्होंने यह भी कहा कि यूएनएचआरसी को पाकिस्तान से पूछना चाहिए कि आजादी के बाद अल्पसंख्यक समुदाय जैसे हिंदू, ईसाइयों और सिखों की संख्या में भारी कमी क्यों आई है।
उन्होंने यह भी कहा कि पाकिस्तान में अल्पसंख्यक समुदायों के पवित्र और प्राचीन स्थलों पर हर दिन हमला किया जाता है और उन्हें नुकसान पहुंचाया जा रहा है।
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