वाशिंगटन: अमेरिका में फर्जी तरीके से नकली आव्रजन दस्तावेजों के आधार पर और दूसरे की पहचान चुराकर एच-1बी श्रेणी के दो वीजा हासिल करने के मामले में एक भारतीय मूल के व्यक्ति के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। बहरहाल, व्यक्ति ने खुद पर लगे इन आरोपों से इनकार किया है।
49 वर्षीय अभिजीत प्रसाद ने कहा, किसी ग्रांड ज्यूरी ने मुझे दोषी नहीं बताया है। मैंने स्पष्ट तौर पर सभी आरोपों को खारिज किया है और एक ग्रांड ज्यूरी जूरी गठित करने का अनुरोध किया है। इस संबंध में मुझसे जुड़ा कोई साक्ष्य नहीं है और अब तक कोई सुनावाई नहीं हुई (ना ही अब तक सुनवाई से पहले की कार्रवाई हुई)। अभिजीत प्रसाद ने अपने बयान में कहा, इसलिए यह बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है कि यूएस अटॉर्नी के कार्यालय ने बगैर किसी सुनवाई और यथोचित कार्रवाई के इस सूचना को जारी किया।
अमेरिकी एटर्नी के केलिफोर्निया कार्यालय से जारी एक विज्ञप्ति के अनुसार संघीय ग्रांड ज्यूरी ने केलिफोर्निया में ट्रेसी के प्रसार के खिलाफ 23 दिसम्बर को लगाये गये 23 मामलों वाले अभियोग पत्र को लौटा दिया है। इसमें 31 वीजा संबंधी जालसाली और दो पहचान छुपाने से जुड़े हैं। बहरहाल यूएस अटॉर्नी के कार्यालय ने कहा, ये मामले केवल आरोप हैं। अभियुक्त को तब तक निर्दोष माना जाएगा जब तक कि तर्कसंगत संदेह से परे उसे दोषी नहीं साबित कर दिया जाए।
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