इस्तांबुल: तुर्की के राष्ट्रपति रेसेप तैयप एर्दोआन ने हागिया सोफिया के बाद अब एक और चर्च को मस्जिद में बदलने के आदेश जारी कर दिए हैं। रिपोर्ट्स के मुताबिक, राष्ट्रपति का यह आदेश 21 अगस्त के आधिकारिक राजपत्र में प्रकाशित किया गया है। तुर्की की सरकार जिस चर्च को मस्जिद में बदलने जा रही है उसका नाम कोरा म्यूजियम (Kariye Museum or Chora Museum) है। बता दें कि हागिया सोफिया (Hagia Sophia) की तरह ही केरिए म्यूजियम भी पहले चर्च था, और बाद में इसे मस्जिद और फिर म्यूजियम में तब्दील कर दिया गया था।
हजार साल पुरानी है कोरा म्यूजियम की इमारत
बता दें कि पिछले महीने ही तुर्की की सरकार ने विश्व प्रसिद्ध यूनेस्को वर्ल्ड हेरिटेज साइट हागिया सोफिया को एक मस्जिद में बदल दिया था। इस कदम की ईसाइयों समेत दुनिया के कई देशों ने जबर्दस्त आलोचना की थी, और ताजे कदम से भी ईसाइयों में आक्रोश भड़कने का अनुमान है। जहां तक कोरा म्यूजियम का सवाल है, तो इस हजार साल पुरानी इमारत का इतिहास भी हागिया सोफिया से काफी मिलता-जुलता है। यह एक बेजेंटाइन चर्च था जिसे 1453 में ऑटोमन तुर्कों के कॉन्सटैंटिनोपल या आज के इस्तांबुल पर कब्जे के बाद मस्जिद में बदल दिया गया था। द्वितीय विश्व युद्ध के बाद जब तुर्की एक रिपब्लिक बना तो इसे एक म्यूजियम में तब्दील कर दिया गया।
आखिर एर्दोआन चर्चों को मस्जिद में क्यों बदल रहे हैं?
मस्जिद से म्यूजियम बनाए जाते वक्त अमेरिका के कला इतिहासकार बड़ी मेहनत करके इसके बेशकीमती पत्थरों को फिर से पुराने स्वरूप में लाए थे। इसके बाद इस म्यूजियम को आम जनता के लिए 1958 में खोल दिया गया था। हालांकि अब यह तुर्की के राष्ट्रपति रेसेप तैयप एर्दोआन के निशाने पर है और उन्होंने इसे फिर से एक मस्जिद में बदलने का हुक्म दे दिया है। विशेषज्ञों का मानना है कि अपने इन कदमों से एर्दोआन एक तरफ तो कट्टरपंथियों को खुश करके देश की सत्ता पर अपनी पकड़ मजबूत करना चाहते हैं, तो दूसरी तरफ मुस्लिम दुनिया में खुद को सबसे बड़े नेता के तौर पर प्रोजेक्ट करना चाहते हैं।
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