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POK में बगावत पर उतरे लोग, जोरदार प्रदर्शन; पाकिस्तान के सुरक्षाबलों ने लोगों पर बरसाईं गोलियां

पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में पिछले कुछ समय से भड़क रही बगावत की चिंगारी अब शोलों में तब्दील हो चुकी है और पूरे इलाके में गेहूं के आटे और बिजली की कीमतों को लेकर लगातार प्रदर्शन हो रहे हैं।

POK, POK Tricolor, POK Protest, POK Protest Pakistani Rangers- India TV Hindi Image Source : AP पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में पिछले कुछ दिनों से लगातार प्रदर्शन हो रहे हैं।

इस्लामाबाद: पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर यानी कि POK में बगावत की आग और तेजी से भड़कती जा रही है। यहां गेहूं के आटे, बिजली की ऊंची कीमतों और ज्यादा टैक्स के खिलाफ शुरू की गई पूर्ण हड़ताल सोमवार को चौथे दिन भी जारी रही, जिसके चलते पाकिस्तान की सरकार को क्षेत्र में बढ़ती अशांति को खत्म करने के लिए तत्काल 23 अरब रुपये आवंटित करने पड़े। हालांकि क्षेत्र में हालात तब और खराब हो गए जब पैरामिलिट्री फोर्स पाकिस्तान रेंजर्स के जवानों प्रदर्शनकारियों पर गोलियों की बौछार कर दी। रिपोर्ट्स के मुताबिक, इस घटना में कई प्रदर्शनकारियों की जान चली गई है।

पुलिस अधिकारी की भी हुई मौत

विवादित क्षेत्र में शनिवार को पुलिस और मानवाधिकार आंदोलन के कार्यकर्ताओं के बीच झड़पें हुईं, जिसमें कम से कम एक पुलिस अधिकारी की मौत हो गई और 100 से अधिक लोग घायल हो गए थे। रिपोर्ट्स के मुताबिक, घायलों में ज्यादातर पुलिसकर्मी थे। शुक्रवार को पूर्ण हड़ताल करने से जनजीवन ठप हो गया। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने कहा कि वह स्थिति को लेकर ‘काफी चिंतित’ हैं। उन्होंने प्रदर्शनकारियों और क्षेत्रीय सरकार के बीच गतिरोध समाप्त होने के बाद क्षेत्र के लिए तत्काल 23 अरब रुपये प्रदान करने को सोमवार को मंजूरी दी।

बवाल बढ़ने के बाद हुए कई ऐलान

POK के ‘प्रधानमंत्री’ चौधरी अनवार-उल-हक ने शरीफ की अध्यक्षता में हुई बैठक के तत्काल बाद बिजली दरों में कटौती की घोषणा की। हक ने कहा कि निवासी पिछले कुछ दिनों से सस्ती बिजली और आटा सब्सिडी की मांग कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि कोई भी सुलभ बिजली और सस्ती रोटी की जरूरत को नजरअंदाज नहीं कर सकता है। उन्होंने रोटी की कीमतों में कटौती की भी घोषणा की। जम्मू कश्मीर संयुक्त अवामी एक्शन कमेटी (JAAC) के सदस्य क्षेत्र में जलविद्युत उत्पादन लागत के अनुसार बिजली की कीमतों को तय करने, गेहूं के आटे पर सब्सिडी और कुलीन वर्ग के विशेषाधिकारों को समाप्त करने की मांग कर रहे हैं।

सरकार पर टालमटोल करने का आरोप

बता दें कि JAAC के नेतृत्व में पाक अधिकृत कश्मीर (POK) की राजधानी मुजफ्फराबाद में एक लंबा मार्च निकाला गया। JAAC कोर कमेटी और क्षेत्र के मुख्य सचिव दाऊद बराच के बीच हुई बातचीत में कोई समाधान न निकलने के बाद प्रदर्शनकारियों ने मुजफ्फराबाद की ओर कूच करने का एलान किया। रावलकोट के एक प्रदर्शनकारी नेता ने सरकार पर टालमटोल की रणनीति अपनाने का आरोप लगाया। वहीं, कुछ प्रदर्शनकारी पहले ही कई स्थानों पर कोहाला-मुजफ्फराबाद रोड को बंद कर वहां धरने पर बैठ हुए हैं। प्रदर्शनकारियों और सुरक्षाबलों के बीच जगह-जगह टकराव देखने को मिल रहा है।

रेंजर्स की गोलियों का निशाना बने लोग

रिपोर्ट्स के मुताबिक, POK में चौराहों और संवेदनशील स्थानों पर बड़ी संख्या में पुलिस बल तैनात किया गया है। बाजार, व्यापार केंद्र और शैक्षणिक संस्थान बंद हैं, जबकि यातायात सेवाएं ठप्प हैं। मीरपुर में पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच शनिवार को झड़प होने के बाद तथाकथित सरकार ने रेंजर्स को बुलाया था और झड़प में कई प्रदर्शनकारियों की मौत की भी खबर आई। अपनी मांगों के लिए प्रदर्शन कर रहे प्रदर्शनकारियों ने शनिवार को पुंछ-कोटली रोड पर एक मजिस्ट्रेट की कार समेत कई वाहनों को क्षतिग्रस्त कर दिया। POK के विभिन्न स्थानों में हिंसा होने के बाद पुलिस ने प्रदर्शनकारियों के खिलाफ कार्रवाई करते हुए मुजफ्फराबाद में दर्जनों लोगों को गिरफ्तार किया था।

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