कोलकाता: पश्चिम बंगाल के कूचबिहार जिले के सीतलकूची में बाड़युक्त सीमावर्ती क्षेत्र में शुक्रवार सुबह उस समय तनाव पैदा हो गया जब लगभग एक हजार घबराए हुए बांग्लादेशी नागरिक भारत में घुसने और शरण लेने की कोशिश में बाड़ के दूसरी ओर एकत्र हो गए। हालांकि, सीमा पर कड़ी निगरानी रखने वाले सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) ने इस प्रयास को विफल कर दिया। सीमा सुरक्षा बल ने पुष्टि की है कि बाद में बॉर्डर गार्ड्स बांग्लादेश (बीजीबी) के जवानों ने बांग्लादेशियों को वहां से हटा दिया। भीड़ में कथित तौर पर ज्यादातर बांग्लादेशी हिंदू शामिल थे।
नाकाम रही घुसपैठ की कोशिश
यह सभी लोग बांग्लादेश के लालमोनिरहाट जिले के गेंडुगुरी और दोइखवा गांवों में एक जलाशय के किनारे बाड़ से लगभग 400 मीटर दूर एकत्र हुए थे। पठानटुली गांव में बीएसएफ की 157 बटालियन की भारी तैनाती तथा वाहनों और पैदल यात्रियों पर निगरानी रखने के कारण विदेशियों की घुसपैठ की कोशिश सफल नहीं हो पाई। बांग्लादेशी लोग भारत में प्रवेश की मांग के लिए नारे लगा रहे थे। घटना के बारे में पूछे जाने पर बीएसएफ के एक वरिष्ठ अधिकारी ने पुष्टि की कि बड़ी संख्या में बांग्लादेशी सीमा पर एकत्र हुए थे जिन्हें बाद में बीजीबी वापस ले गई।
BSF के लिए नई चुनौती
अधिकारी ने बताया, "बांग्लादेशी सीमा पर एकत्र हुए थे, लेकिन कोई भी देश में प्रवेश नहीं कर सका क्योंकि सीमा पूरी तरह से सील थी। बाद में उन्हें बीजीबी द्वारा उनके देश में वापस ले जाया गया।" इसके बाद बीएसएफ के गुवाहाटी फ्रंटियर की तरफ से जारी एक बयान में इस घटनाक्रम को एक "नई सीमा चुनौती" बताया गया। बयान में कहा गया है कि यह उभरती चुनौती बीएसएफ के लिए नई है। बीएसएफ को बांग्लादेश और पाकिस्तान, दोनों से लगी सीमाओं की सुरक्षा का जिम्मा सौंपा गया है। (भाषा)
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