पाकिस्तान के पीएम शहबाज शरीफ ने किया झूठा दावा, करा ली अपनी किरकिरी, ऐसे खुली पोल, जानें मामला
कंगाल होने की कगार पर पहुंच गया है पाकिस्तान, लेकिन अपनी हरकतों से बाज नहीं आता है। झूठ और फरेब पाकिस्तान की रगों में है। इसका उदाहरण खुद पाक पीएम शहबाज शरीफ ने दिया है। उन्होंने कर्ज के लिए आईएमएफ से जुड़ा गलत दावा पाक की जनता के सामने पेश किया, लेकिन उनकी पोल खुल गई। पढ़िए क्या है पूरा मामला?
पाकिस्तान की माली हालत बेहद खस्ता है। वह कटोरा लेकर अपने मित्र देशों के पास जाता है, तो कभी अंतरराष्ट्रीय बैंकों के सामने झोली फैलाता है। इसी बीच कंगाल पाकिस्तान के पीएम शहबाज शरीफ ने अपने झूठे दावे से अपनी खुद ही किरकिरी करा ली है। उन्होंने कहा कि हाल ही में IMF यानी अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष के प्रमुख ने उनसे बात की है। जबकि इस मामले में IMF के प्रमुख का बयान आया है कि उन्होंने खुद कोई बात नहीं की, बल्कि खुद शहबाज शरीफ का फोन उन्हें आया था। कलई खुलने पर शहबाज को अपने देश की जनता के सामने गलत बयानी करने के लिए शर्मिंदा होना पड़ा है। जानिए क्या है मामला।
कंगाल पाकिस्तान अपनी डूबती नैया बचाने के लिए जिस अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) का मुंह ताक रहा है, उसी के साथ उसने राजनीति करनी शुरू कर दी है। पाकिस्तानी पीएम ने हाल ही में कहा कि आईएमएफ प्रमुख क्रिस्टलिना जॉर्जीवा ने फोन कर उनसे आर्थिक स्थिति पर बात की। लेकिन अब आईएमएफ की तरफ से कहा गया है कि पाकिस्तान का ये दावा झूठा है, बल्कि खुद पीएम शरीफ ने आईएमएफ प्रमुख से फोन पर बातचीत का अनुरोध किया था।
IMF ने दिया यह स्पष्टीकरण
पाकिस्तानी अखबार द एक्सप्रेस ट्रिब्यून की एक रिपोर्ट के मुताबिक, IMF ने रविवार को कहा कि क्रिस्टलिना जॉर्जीवा और प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ के बीच कॉल पर बातचीत पीएम के अनुरोध पर हुई। IMF के रेजिडेंट प्रतिनिधि एस्तेर पेरेज ने कहा, 'फोन पर ये बातचीत पाकिस्तान की खराब स्थिति पर होनेवाले जेनेवा अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन पर चर्चा के लिए हुई। कॉल का अनुरोध पाकिस्तानी पीएम ने किया था।'
पाकिस्तानी पीएम के दावे गलत साबित हुए
शुक्रवार को हजारा इलेक्ट्रिक सप्लाई कंपनी (HAZECO) के उद्घाटन समारोह में पीएम शरीफ ने अपने भाषण के दौरान दावा किया था कि IMF प्रमुख ने उनसे संपर्क किया था। इसके बाद पीएम कार्यालय की तरफ से जारी एक आधिकारिक बयान में कहा गया, 'IMF प्रमुख ने पीएम शहबाज शरीफ को फोन किया था। पीएम ने शुक्रवार को ये भी दावा किया था कि आईएमएफ का एक प्रतिनिधिमंडल दो से तीन दिनों में पाकिस्तान आ जाएगा, जो पाकिस्तान को आपातकालीन लोन की अगली किस्त जारी करने पर समीक्षा वार्ता करेगा।
IMF ने शहबाज शरीफ की इस बात को भी झुठलाया
पीएम ने कहा, 'मैंने उनसे (IMF प्रमुख से) लंबित 9वीं समीक्षा को पूरा करने के लिए आईएमएफ की एक टीम भेजने के लिए कहा ताकि लोन की अगली किश्त जारी की जा सके। उन्होंने आश्वासन दिया कि टीम अगले दो से तीन दिनों में पाकिस्तान का दौरा करेगी।' IMF के एक प्रवक्ता ने मीडिया को दिए गए एक बयान में पीएम के इस दावे को भी झुठला दिया। प्रवक्ता ने अपने बयान में इस बात का कोई संकेत नहीं दिया कि लोन की किस्त जारी करने के लिए कोई टीम अगले तीन दिनों में 9वीं समीक्षा बैठक के लिए पाकिस्तान आएगी।
दिवालिया होने का खतरा, पर झूठे दावे से बाज नहीं आ रहा पाकिस्तान
पाकिस्तान का विदेशी मुद्रा भंडार बस तीन सप्ताह के आयात के लिए पर्याप्त है। पाकिस्तान के केंद्रीय बैंक स्टेट बैंक ऑफ पाकिस्तान ने हाल ही में बताया कि पाकिस्तान का विदेशी मुद्रा भंडार छह अरब डॉलर से भी कम रह गया है। पाकिस्तान को तीन महीने (जनवरी-मार्च) के भीतर 8.5 अरब डॉलर का विदेशी कर्ज चुकाना है जिसमें संयुक्त अरब अमीरात का दो अरब डॉलर शामिल है। बावजूद इसके पाकिस्तान की सरकार झूठे दावे कर IMF के सामने अपनी साख गिराने में कोई कसर नहीं छोड़ रही है।