इजराइल ने तेज किए जमीनी हमले, गाजा का संपर्क पूरी दुनिया से कटा, संचार व्यवस्था ठप
इजराइल ने हमास पर जमीनी हमले और तेज कर दिए हैं। इस कारण गाजा पट्टी में इंटरनेट और संचार के अन्य माध्यम बंद हो गए हैं। इससे वहां रहने वाले 23 लाख लोगों का आपस में तथा बाहरी दुनिया से संपर्क कट गया है।
Israel Hamas War: इजराइल और हमास के बीच जंग जारी है। इजराइल ने हमास पर हमले और तेज कर दिए हैं। गाजा पर अब इजराली नौसेना भी हमला करने के लिए मोर्चा संभाल रही है। दक्षिण गाजा पर नौसेना और उत्तरी व मध्य गाजा पर एयर स्ट्राइक के साथ ही जमीनी हमले भी तेज हो गए हैं। हालात ये हैं कि अब गाजा का संपर्क पूरी दुनिया से कट गया है। इंटरनेट और संचार व्यवस्था ठप हो गई है।
हमास के पूरे सफाए का लिया प्रण
इजराइल ने गाजा पट्टी में इंटरनेट और संचार के अन्य माध्यम बंद कर दिए हैं, जिससे वहां रहने वाले 23 लाख लोगों का आपस में तथा बाहरी दुनिया से संपर्क कट गया है। इजराइल ने शुक्रवार रात से गाजा पर हवाई और जमीनी हमले भी तेज कर दिए हैं। इजराइल की सेना ने कहा कि वह क्षेत्र में जमीनी अभियान को और तेज और व्यापक कर रही है। सेना की यह घोषणा इस बात का संकेत देती है कि वह गाजा पर संपूर्ण आक्रमण के नजदीक पहुंच रही है। उसने गाजा में हमास आतंकियों का पूरी तरह से सफाया करने का प्रण लिया है।
इंटरनेट, दूरसंचार सेवा ठप
इजराइल के हवाई हमलों के कारण हुए विस्फोट से गाजा सिटी के आसमान में लगतार चमक दिखाई देती रही। फिलिस्तीन के टेलीकॉम प्रदाता ‘पालटेल’ ने कहा कि बमबारी के कारण इंटरनेट, सेल्युलर और लैंडलाइन सेवाएं ‘पूर्ण रूप से बाधित’ हो गईं हैं। संचार ठप होने का तात्पर्य यह है कि हमले में लोगों के मारे जाने और जमीनी कार्रवाई के बारे में कोई जानकारी नहीं मिल पाएगी।
भोजन और पानी के लिए तरसे लोग
हालांकि, क्षेत्र में कुछ सैटेलाइट फोन काम कर रहे हैं। गाजा एक सप्ताह से बिजली नहीं होने से अंधेरे में डूबा हुआ है। फिलिस्तीन के लोग भोजन और पेयजल की समस्या से भी जूझ रहे हैं। गाजा के लोग उस वक्त दशहत में आ गए, जब मैसेजिंग ऐप अचानक बंद होने के कारण परिवारों के साथ उनका संपर्क कट गया और कॉल आने बंद हो गए। वेस्ट बैंक के रामल्ला शहर में महिलाओं की एक संस्था की निदेशक वफ़ा अब्दुल रहमान ने कहा, ‘मैं बहुत डर गई। मेरी कई घंटों से मेरे परिवार से कोई बातचीत नहीं हुई है।’
चिकित्सकों से भी नहीं हो पा रहा संपर्क
कब्जे वाले क्षेत्रों के लिए संयुक्त राष्ट्र के मानवीय समन्वयक लिन हेस्टिंग्स ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर पोस्ट किया कि फोन और इंटरनेट सेवा के बिना अस्पताल और सहायता अभियान संचालित नहीं हो सकेंगे। वहीं, रेड क्रिसेंट ने कहा कि वह चिकित्सा दलों से संपर्क नहीं कर पा रहा है और निवासी एम्बुलेंस सेवा को फोन नहीं कर पा रहे हैं। अंतरराष्ट्रीय सहायता समूहों ने कहा कि वे सैटेलाइट फोन के इस्तेमाल से केवल कुछ कर्मचारियों से ही संपर्क कर सके हैं।