पाकिस्तान के बलूचिस्तान में कांपी धरती, 5.4 की तीव्रता, क्वेटा रहा भूकंप का केंद्र
पाकिस्तान के मौसम विभाग के अनुसार भूकंप पाकिस्तान-ईरान सीमावर्ती इलाकों में भी महसूस किए गए। फिलहाल जान माल के नुकसान की कोई जानकारी सामने नहीं आई है।
Pakistan News: पाकिस्तान में एक बार फिर भूकंप से धरती कांपी है। जानकारी के अनुसार पाकिस्तान के बलूचिस्तान में भूकंप के झटके महसूस हुए। ये झटके राजधानी क्वेटा, नोशकी, चागी, चमन, किला अब्दुल्ला, दलबदीन, पिशिन और प्रांत के कुछ अन्य इलाकों में महसूस किए गए। रिक्टर स्केल पर इसकी तीव्रता 5.4 मापी गई। हालांकि, किसी के हताहत होने की कोई खबर सामने नहीं आई है। मौसम विभाग के अधिकारी ने बताया कि भूकंप का केंद्र क्वेटा के 150 किलोमीटर उत्तर पश्चिम में 35 किलोमीटर की गहराई में था।
पाकिस्तान के मौसम विभाग के अनुसार भूकंप पाकिस्तान-ईरान सीमावर्ती इलाकों में भी महसूस किए गए। फिलहाल जान माल के नुकसान की कोई जानकारी सामने नहीं आई है। इससे पहले भी पाकिस्तान में भूकंप आ चुके हैं। इनमें लोगों की जान जा चुकी है। वहीं इमारतें और मकान भी क्षतिग्रस्त हुए हैं। बलूचिस्तान के हरनाई क्षेत्र में अक्टूबर 2021 में आए भूकंप में 40 लोगों की मौत हो गई थी और 300 अन्य घायल हुए थे।
2013 में 7.8 तीव्रता का आया था भूकंप
सितंबर 2013 में बलूचिस्तान के कई इलाकों में 7.8 तीव्रता का भूकंप आया था, जिससे कम से कम 348 लोगों की मौत हो गई थी। अवारान और केच जिलों में 300,000 से अधिक लोग प्रभावित हुए थे। जबकि इस घटना केदो दिन बाद 6.8 तीव्रता का एक और शक्तिशाली भूकंप अवारान जिले और अन्य क्षेत्रों में आया था, जिसमें सात लोग मारे गए थे और कई घायल हो गए थे।
अफगानिस्तान में आया था भूकंप
इससे पहले पाकिस्तान के पड़ोसी देश अफगानिस्तान में भी भूकंप के झटके आए थे। रिक्टर पैमाने पर भूकंप की तीव्रता 4.5 मापी गई। राष्ट्रीय भूकंप विज्ञान केंद्र ने इस भूकंप की जानकारी दी है। बता दें कि भूकंप का केंद्र अफगानिस्तान में रहा, लेकिन झटके भारत और पाकिस्तान सहित तजाकिस्तान के भी कई इलाकों में महसूस किए गए।
क्यों आता है भूकंप?
दरअसल, पृथ्वी की चार प्रमुख परतें हैं, जिसे इनर कोर, आउटर कोर, मेंटल और क्रस्ट कहते हैं। जानकारी के अनुसार, पृथ्वी के नीचे मौजूद प्लेट्स घूमती रहती हैं, जिसके आपस में टकराने पर पृथ्वी की सतह के नीचे कंपन शुरू होता है। जब ये प्लेट्स अपनी जगह से खिसकती हैं तो भूकंप के झटके महसूस किए जाते हैं। इस जगह पर सबसे ज्यादा भूकंप का असर रहता है। हालांकि, भूकंप की तीव्रता अगर ज्यादा होती है तो इसके झटके काफी दूर तक महसूस किए जाते हैं।