बीजिंग: चीन की सरकार अब देश के बच्चों को विदेशियों को गोद लेने की अनुमति नहीं दे रही है। विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता माओ निंग ने कहा कि एकमात्र अपवाद किसी बच्चे या सौतेले बच्चे को गोद लेने वाले रक्त संबंधियों के लिए होगा। उन्होंने निर्णय की व्याख्या नहीं की और सिर्फ इतना कहा कि यह प्रासंगिक अंतरराष्ट्रीय संधियों की भावना के अनुरूप है। दशकों से अनेक विदेशियों ने चीन से बच्चों को गोद लिया है। वो उन्हें लेने के लिए देश का दौरा करते हैं और फिर उन्हें विदेश में एक नए घर में ले जाते हैं। चीन ने कोरोना महामारी के दौरान अंतरराष्ट्रीय दत्तक ग्रहण को निलंबित कर दिया था।
अमेरिकी विदेश विभाग ने क्या कहा?
अमेरिकी विदेश विभाग ने दत्तक ग्रहण संबंधी अपनी नवीनतम वार्षिक रिपोर्ट में कहा कि चीन सरकार ने बाद में उन बच्चों से संबंधित दत्तक ग्रहण फिर शुरू कर दिया, जिन्हें 2020 में निलंबन से पहले यात्रा मंजूरी प्राप्त हुई थी। विदेश विभाग की रिपोर्ट में कहा गया है कि अमेरिकी वाणिज्य दूतावास ने अक्टूबर 2022 से सितंबर 2023 तक 12 महीनों में चीन से बच्चे गोद लेने के लिए 16 वीजा जारी किए। यह स्पष्ट नहीं है कि तब से कोई और वीजा जारी किया गया है या नहीं।
चीन की नीति
इस बीच यह भी बता दें कि, चीन में 1980 से 2015 तक विवादास्पद एक बच्चे की नीति लागू रही है। इसके तहत दूसरा बच्चा पैदा करने पर कठोर दंड का प्रावधान था। लंबे समय तक चले इस नियम से देश में जनसांख्यिकी संकट खड़ा हो गया। अब सरकार ज्यादा बच्चे पैदा करने के लिए प्रोत्साहित कर रही है। सरकार ने अब इस सीमा को तीन बच्चों तक बढ़ा दिया है। भले ही एक बच्चे की नीति को खत्म कर दिया गया है लेकिन 35 साल तक चले इस नियम का समाज पर गहरा असर रहा है। (एपी)
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