सना: यमन के अदन में एयरपोर्ट पर बुधवार को हुए भीषण विस्फोट के लिए प्रधानमंत्री ने देश के शिया विद्रोहियों और ईरान को जिम्मेदार ठहराया है। यमन के दक्षिणी शहर अदन के हवाई अड्डे पर नव गठित कैबिनेट के सदस्यों को लेकर आए विमान के उतरने के कुछ देर बाद बुधवार को हुए भीषण विस्फोट में 25 लोगों की मौत हो गई और 110 लोग घायल हो गए। घटना में सरकार के विमान में सवार कोई हताहत नहीं हुआ और प्रधानमंत्री समेत सभी लोगों को सुरक्षित निकाल लिया गया था।
यमन की अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मान्यता प्राप्त सरकार ने कहा कि ईरान समर्थित हूती विद्रोहियों ने हवाई अड्डे पर 4 बैलिस्टिक मिसाइलें दागीं। विद्रोही गुट ने प्रतिक्रिया के लिए भेजे गए सवालों का जवाब नहीं दिया है और हमले की जिम्मेदारी नहीं ली है। यमन के प्रधानमंत्री मईन अब्दुल मलिक सईद ने कहा, ‘आरंभिक जांच से पता चला है कि इस हमले के लिए हूती विद्रोही जिम्मेदार हैं। खुफिया सूचनाएं मिली है कि कुछ ईरानी विशेषज्ञ पिछले कई महीनों से इस घटना को अंजाम देने की तैयारी कर रहे थे।’
अधिकारियों ने बताया कि बाद में शहर में एक और विस्फोट हुआ। यह विस्फोट उस ‘पैलेस’ के पास हुआ, जिसमें कैबिनेट के सदस्यों को ले जाया गया था। वीडियो फुटेज में दिखा है कि सरकारी प्रतिनिधिमंडल के विमान से बाहर आते ही धमाका हुआ। विमान में सवार कोई व्यक्ति हताहत नहीं हुआ और कई मंत्रियों को वापस विमान में सवार होते हुए देखा गया। यमन के प्रधानमंत्री और अन्य लोगों को धमाके के तुरंत बाद हवाई अड्डे से शहर स्थित ‘मशिक पैलेस’ ले जाया गया।
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