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Hindi News विदेश एशिया पाकिस्तान के पीएम इमरान खान से तालिबान नेता मुल्ला बरादर ने की मुलाकात? कल कुरैशी से भी मिले थे

पाकिस्तान के पीएम इमरान खान से तालिबान नेता मुल्ला बरादर ने की मुलाकात? कल कुरैशी से भी मिले थे

ऐसी खबरें आई थीं कि तालिबान के वरिष्ठ नेताओं के एक समूह ने इस्लामाबाद में पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान से मुलाकात की।

Taliban leaders meets Pakistan PM Imran Khan, discusses stalled Afghan peace process | AP- India TV Hindi Taliban leaders meets Pakistan PM Imran Khan, discusses stalled Afghan peace process | AP

इस्लामाबाद: तालिबान के वरिष्ठ नेताओं के एक समूह ने इस्लामाबाद में पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान से मुलाकात की। एक मीडिया रिपोर्ट दी गई जानकारी के मुताबिक इमरान खान ने गुरुवार की रात तालिबान के नेताओं के साथ बैठक की। अज्ञात सूत्रों का हवाला देते हुए, पाकिस्तानी मीडिया में बताया गया है कि तालिबान प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व समूह के सह-संस्थापक मुल्ला अब्दुल गनी बरादर ने किया। हालांकि बाद में पाकिस्तान सरकार ने ऐसी किसी भी मुलाकात से इनकार कर दिया। आपको बता दें कि इमरान को तालिबान का शुभचिंतक माना जाता है और उन्हें ‘तालिबान खान’ के नाम से भी बुलाया जाता है।

खान ने तालिबान नेताओं को दिया आश्वासन
रिपोर्ट्स के मुताबिक, खान ने गुरुवार रात को तालिबानी नेताओं के साथ बैठक के दौरान अफगानिस्तान में शांति बनाए रखने की आवश्यकता पर जोर दिया है और क्षेत्र में शांति और स्थिरता को बहुत महत्वपूर्ण बताया। पाकिस्तानी प्रधानमंत्री ने तालिबान नेताओं को यह भी आश्वासन दिया कि पाकिस्तान अफगानिस्तान में शांति के लिए अपने प्रयासों को जारी रखेगा। रिपोर्ट्स के मुताबिक, तालिबान के नेता अफगान शांति प्रक्रिया को फिर से शुरू करने पर जोर देने के उद्देश्य से पाकिस्तान में मौजूद हैं। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने तालिबान के साथ शांति वार्ता को अचानक से रद्द कर इसे ‘खत्म’ घोषित कर दिया था।

विदेश मंत्री कुरैशी से भी मिले थे तालिबान नेता
इससे पहले दिन में, 12 सदस्यीय तालिबान प्रतिनिधिमंडल ने पाकिस्तान विदेश कार्यालय में बैठकें कीं। विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने अफगानिस्तान में युद्ध को लेकर अमेरिका के साथ बातचीत फिर से शुरू करने का आह्वान किया। कुरैशी ने एक बयान में कहा कि इस्लामाबाद अफगानिस्तान में एक टिकाऊ, लंबे समय तक की शांति और स्थिरता के लिए वार्ता की बहाली चाहता है। उन्होंने कहा, ‘युद्ध किसी भी समस्या का समाधान नहीं है। अफगानिस्तान में शांति स्थापित करने के लिए वार्ता एकमात्र और सकारात्मक समाधान है।’

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