इस्लामाबाद: पाकिस्तान के मादक पदार्थ नियंत्रण मामलों के संघीय मंत्री शहरयार अफरीदी ने देश की संसद के निचले सदन नेशनल एसेंबली में कहा कि इस बात को मानने की जरूरत है कि देश के शिक्षण संस्थानों और युवाओं में मादक पदार्थो का चलन फैल चुका है। उन्होंने कहा कि समस्या कितनी गंभीर है, इसका अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि एक मदरसे के शिक्षक ने विद्यार्थियों से कहा कि नशीली दवा लिया करो, इससे पाठ याद करने में मदद मिलती है। उनके इस बयान पर सदन में हंगामा मच गया।
अफरीदी ने चर्चा के दौरान कहा कि युवाओं और छात्रों में नशीली दवाओं के चलन को रोकने के लिए 'जिंदगी' नाम से एक ऐप लॉन्च कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि समाज में काफी हद तक मादक पदार्थो का इस्तेमाल फैल चुका है। यह किसी पार्टी या सरकार का मामला नहीं है। इसमें माता-पिता की मदद की जरूरत है।
अफरीदी ने कहा कि एक मदरसे के शिक्षक ने बच्चों से कहा कि नशीली दवाएं लिया करो, इससे पाठ को कंठस्थ करने में मदद मिलती है। इस बयान पर हंगामा हुआ। धार्मिक पार्टियों के गठबंधन एमएमए में शामिल जमीयते उलेमाए इस्लाम-फजल के सांसद मौलाना असद महमूद ने कहा कि अफरीदी ने झूठ बोला है। एक मदरसे के नाम पर देश के हजारों मदरसों को बदनाम करने की इजाजत नहीं दी जाएगी। अफरीदी उस मदरसे का नाम बताएं, जहां यह बात कही गई।
इस पर अफरीदी ने कहा कि उन्होंने किसी मदरसे का नाम नहीं लिया है। सदन में हंगामा बढ़ने पर शिक्षा मंत्री शफकत महमूद ने बीच बचाव करते हुए कहा कि पाकिस्तान के मदरसों का स्तर इतना अच्छा है कि दुनिया के अन्य देशों से बच्चे यहां पढ़ने आते हैं। लेकिन, अगर कहीं कुछ बुरा दिखता है तो उसे बुरा कहना होगा।
सांसद मौलाना असद महमूद ने कहा कि इस तरह से बात नहीं हो सकती। उस शिक्षक का नाम बताइये। हम खुद जांच कर दुनिया को इस बारे में बताएंगे। संघीय सरकार भी जांच कर कार्रवाई करे। इस तरह से सिर्फ कह देने का कोई अर्थ नहीं है।
Latest World News