तोक्यो: अपने परमाणु एवं मिसाइल कार्यक्रमों के चलते कई तरह के प्रतिबंध झेल रहे उत्तर कोरिया की माली हालत खराब है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, प्रतिबंधों से टूट चुके उत्तर कोरिया ने अब चीन से मदद की गुहार लगाई है। बताया जा रहा है कि उत्तर कोरियाई नेता किम जोंग उन ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के साथ हुई ऐतिहासिक शिखर वार्ता के बाद प्योंगयांग पर लगे प्रतिबंध को हटाने में चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग से मदद की अपील की है। जापानी मीडिया में आई एक खबर में अनाम सूत्रों के हवाले से यह बात कही गई है।
जापान के ‘योमिउरी शिमबुन’ अखबार ने अपनी खबर में कहा कि किम ने बीजिंग में पिछले महीने शी के साथ अपनी तीसरी बैठक के दौरान यह अनुरोध किया और चीनी राष्ट्रपति ने इसके लिए अपनी तरफ से अधिकतम प्रयास करने का वादा किया। अखबार के मुताबिक, किम ने शी से कहा, ‘हम आर्थिक प्रतिबंधों की वजह से बहुत परेशानी का सामना कर रहे हैं। अब हमने अमेरिका-उत्तर कोरिया के बीच शिखर वार्ता सफलतापूर्वक पूरी कर ली है, मैं चाहता हूं कि चीन प्रतिबंध को जल्द हटवाने के लिए काम करे।’
हाल के महीनों में शीत युद्ध के दौर के सहयोगी देशों ने प्योंगयांग के परमाणु परीक्षणों और बाद में उसपर संयुक्त राष्ट्र द्वारा लगाए गए प्रतिबंधों का चीन द्वारा समर्थन किये जाने के कारण दोनों देशों के रिश्तों में आई खटास को दूर करने की कोशिश की है। रिपोर्ट में कहा गया है कि किम ने शी से कहा कि वह प्रतिबंधों को ढीला करने में मदद करें क्योंकि इसकी वजह से उत्तर कोरिया की अर्थव्यवस्था पंगु हो गई है। उन्होंने चीन से वॉशिंगटन के साथ परमाणु नि:शस्त्रीकरण वार्ता में प्योंगयांग का समर्थन करने का अनुरोध किया।
रिपोर्ट्स के मुताबिक, बदले में शी ने किम से कहा कि वह, ‘सक्रियता से उत्तर कोरिया के सुधार का समर्थन करते हैं और उसके प्रयासों से जुड़े मुद्दों में अग्रसक्रिय होकर सहयोग करेंगे।’ रिपोर्ट के अनुसार, उन्होंने उत्तर कोरिया से ‘चीन के साथ सलाह-मशविरा’ जारी रखने को कहा। चीन ने पिछले साल संकेत दिया था कि संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद प्योंगयांग के खिलाफ दंडात्मक कदमों में ढील पर विचार कर सकता है।
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