इस्लामाबाद: पाकिस्तान ने आज कहा कि कश्मीर मुद्दे का समाधान किए इस क्षेत्र में बिना शांति एवं समृद्धि का सपना बेमानी होगा और ‘आत्मनिर्णय’ के अधिकार के लिए संघर्ष में घाटी के लोगों को उसका सहयोग जारी रहेगा। राष्ट्रपति ममनून हुसैन और प्रधानमंत्री शाहिद खाकान अब्बासी ने ‘कश्मीर एकजुटता दिवस’ के मौके पर अपने संदेश में यह टिप्पणी की। पाकिस्तानी राष्ट्रपति ने कहा, ‘‘पाकिस्तान कश्मीर के लोगों के प्रति संयुक्त राष्ट्र प्रस्तावों के मुताबिक आत्मनिर्णय के अधिकार के लिए उनके संघर्ष में अपना राजनीतिक, नैतिक और राजनयिक समर्थन दोहराता है।’’ (पाकिस्तान: रईसों की प्राइवेट पार्टी में जाने से इंकार करने पर पाक एक्ट्रेस सुंबुल खान का मर्डर )
अब्बासी ने भी अपने संदेश में कश्मीर के लोगों के प्रति एकजुटता प्रकट की। उन्होंने कहा कि सात दशक से ज्यादा समय गुजर जाने के बावजूद जम्मू-कश्मीर के लोगों को ‘आत्मनिर्णय के उनके बुनियादी अधिकारों से उपेक्षित रखा गया है जो संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के प्रस्तावों के जरिए अंतरराष्ट्रीय समुदाय की ओर से किए गए वादे के खिलाफ है।’’
पाकिस्तानी प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत ने मानवाधिकार आयुक्त कार्यालय और ओआईसी के स्वतंत्र स्थायी मानवाधिकार आयोग की टीमों को कश्मीर का दौरा करने की इजाजत नहीं दिया है और इस तरह से वह जमीनी हालात के आकलन के अवसर से उपेक्षित कर रहा है। उन्होंने दावा किया, ‘‘भारत के पास छिपाने के लिए बहुत कुछ है।’’ दोनों नेताओं ने कहा कि कश्मीर मुद्दे का समाधान किए बिना इस क्षेत्र में शांति एवं समृद्धि का सपना पूरा नहीं हो सकेगा।
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