बीजिंग: भारत ने चीन को चावल निर्यात करने की मंशा जताई है। भारत दुनिया का सबसे बड़ा चावल निर्यातक है और उसने चीन से अपने दो अरब डॉलर के चावल आयात बाजार को खोलने को कहा है। भारत चाहता है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की जून की चीन यात्रा के दौरान दोनों राष्ट्रों के बीच जो करार हुआ है उसके अनुरूप उसे (चीन को) अपना चावल आयात बाजार खोलना चाहिए।
जून में शंघाई सहयोग संगठन की शिखर बैठक के मौके पर अलग से प्रधानमंत्री मोदी और चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग की मौजूदगी में भारत से चीन को गैर बासमती चावल के निर्यात पर करार हुआ था। यह बैठक क्विंगदाओ में हुई थी। भारतीय दूतावास ने बयान में कहा कि इसके बाद चीन के अधिकारी भारत गए थे और उन्होंने चावल मिलों का निरीक्षण किया था। पिछले सप्ताह चीन ने चीन को चावल निर्यात के लिए 24 भारतीय चावल मिलों को मंजूरी दे दी है।
इन 24 मंजूर की गई चावल मिलों में से छह ने संगोष्ठी और बिजनेस टु बिजनेस बैठक में भाग लिया। इस बैठक में चीन के 44 आयातक भी शामिल हुए। इस कार्यक्रम का आयोजन चाइना चैंबर आफ कामर्स आफ फूडस्टद्धस एंड नेटिव प्रॉडक्ट्स (सीएफएनए) ने भारतीय दूतावास के साथ भागीदारी में किया।
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