बीजिंग: दुनिया भर में कोरोना का कहर जारी है। चीन में कोरोना वायरस से मरने वालों का आंकड़ा 492 पहुंच चुका है। चीन में 24 हजार से ज्यादा केस सामने आ चुके हैं। लोग अब चीन छोड़ कर जा रहे हैं तो वहीं दुनिया के देशों ने अपने नागरिकों को चीन जाने से रोक दिया है जिस कारण चीन के पर्यटन उद्योग में 30 फीसदी की गिरावट आ गई है। इससे उसका जीडीपी 1 फीसदी तक गिरने की आशंका है। इधर भारत चीन में फंसे तकरीबन 700 भारतीयों को वापस ले आया है।
इस बीच, चीनी अधिकारियों की चुप्पी को लेकर एक बड़ा खुलासा हुआ है। बताया जा रहा है कि वुहान के एक डॉक्टर ने पिछले साल दिसंबर में ही जानलेवा वायरस के पहले मामले से उन्हें अवगत कराया था। चीन ने वायरस का प्रसार रोकने के प्रयासों के तहत सोमवार को 1000 बिस्तरों वाला एक अस्थायी अस्पताल वुहान में खोला। इस अस्पताल को रिकार्ड नौ दिन में तैयार कर लिया गया।
वुहान में ही सबसे ज्यादा मामले सामने आए हैं। बुधवार को 1300 बिस्तरों वाला एक और अस्पताल तैयार हो जाएगा। इन दोनों अस्पताल को सेना के सैकड़ों चिकित्सा कर्मी चलाएंगे। चीन में घातक कोरोना वायरस से संक्रमित 64 और लोगों की मौत हो जाने से मरने वालों की संख्या बढ़कर 492 हो गई और इसके 24 हजार से ज्यादा मामलों की पुष्टि हुई है।
चीन राष्ट्रीय स्वास्थ्य आयोग ने बताया कि जिन 64 लोगों की मौत हुई वे सभी हुबेई प्रांत से थे। आयोग ने बताया कि 3,235 नए मामलों की भी पुष्टि हुई है। नए 5,072 संभावित मामले सामने आए हैं। 492 मरीज गंभीर रूप से बीमार हैं। आयोग ने बताया कि 2,788 लोगों की हालत गंभीर बनी हुई है और 24 हजार से ज्यादा लोगों के वायरस से संक्रमित होने की आशंका है।
चीन में सोमवार तक इसके कुल 20,438 मामले सामने आए थे और मृतक संख्या 425 पर पहुंच गई थी। चीनी विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता हुआ चुनयांग ने मीडिया को बताया कि संक्रमण की चपेट में 16 विदेशी आए हैं। हालांकि उन्होंने ये बताने से इनकार कर दिया कि संक्रमित विदेशी किस देश के नागरिक हैं। रिपोर्ट के मुताबिक संक्रमित विदेशियों में चार पाकिस्तानी और दो ऑस्ट्रेलियाई नागरिक हैं। सैकड़ों पाकिस्तानी अपनी सरकार से उन्हें वहां से ले जाने का अनुरोध कर रहे हैं।
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