Switzerland Burqa Law: ईरान में हिजाब के खिलाफ जारी विरोध प्रदर्शनों को लगभग एक महीना हो गया है। यहां की महिलाएं मांग कर रही हैं कि उन्हें अपनी पसंद के कपड़े पहनने दिए जाएं और वह हिजाब जला रही हैं। अब स्विटजरलैंड में भी बुर्का बैन कानून के तहत चेहरा ढंकने पर 82 हजार रुपये का जुर्माना लगेगा। स्विटजरलैंड की सरकार ने संसद में कानून का ड्राफ्ट भेज दिया है। इसमें कई छूटें भी शामिल हैं, जिनके तहत राजनयिक परिसरों, पूजा स्थलों और विमानों में चेहरे को ढंकने पर प्रतिबंध लागू नहीं होगा। इसके अलावा, स्वास्थ्य, सुरक्षा, जलवायु परिस्थितियों और स्थानीय रीति-रिवाजों से संबंधित कारणों से चेहरा ढंकना कानूनी रूप सही होगा। कला और विज्ञापन के प्रदर्शन को भी इसमें छूट दी गई है।
ड्राफ्ट कानून के तहत, अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के मौलिक अधिकार का प्रयोग करते हुए मास्क पहनने की अनुमति दी जाएगी, यदि अधिकारियों द्वारा मंजूरी दी जाती है और सार्वजनिक व्यवस्था का आश्वासन दिया जाता है। स्विट्जरलैंड ने पिछले साल सार्वजनिक रूप से चेहरा ढंकने पर प्रतिबंध लगाने का प्रस्ताव पारित किया था। प्रस्ताव उसी समूह द्वारा लाया गया था, जिसने साल 2009 में इस्लामी मीनारों पर प्रतिबंध लगाने का प्रस्ताव रखा था।
प्रस्ताव के मसौदे में 'बुर्के' का सीधा जिक्र नहीं
चेहरा ढकने पर जुर्माने के कैबिनेट के प्रस्ताव में बुर्के का सीधा जिक्र नहीं किया गया है। खबरों की मानें तो इसका मकसद हिंसक प्रदर्शनकारियों को मास्क पहनने से रोकना है। लेकिन स्थानीय राजनेताओं, मीडिया और प्रचारकों ने इसे 'बुर्का बैन' करार दिया है। एक बयान में, कैबिनेट ने कहा कि चेहरा ढंकने पर प्रतिबंध का उद्देश्य सार्वजनिक सुरक्षा और व्यवस्था सुनिश्चित करना है। सजा उसकी प्राथमिकता नहीं है। डेलीमेल ने बताया कि प्रतिबंध के समर्थकों का कहना है कि 'चेहरा ढंकना कट्टरवाद, राजनीतिक इस्लाम का प्रतीक है। मुस्लिम समूहों ने मतदान को भेदभावपूर्ण बताते हुए निंदा की है और कानूनी चुनौती देने की बात कही है।
यूरोप के कई देशों में बैन है बुर्का
सार्वजनिक रूप से पूरे चेहरे को ढंकने पर प्रतिबंध पहली बार 11 अप्रैल 2011 को फ्रांस द्वारा लगाया गया था। डेनमार्क, ऑस्ट्रिया, नीदरलैंड और बुल्गारिया में भी सार्वजनिक रूप से चेहरा ढंकने पर पूर्ण या आंशिक रूप से प्रतिबंध है। मुस्लिम स्विट्जरलैंड की आबादी का लगभग 5 प्रतिशत हिस्सा हैं, जिनमें से अधिकांश की जड़ें तुर्की, बोस्निया और कोसोवो से जुड़ी हैं।
Latest World News