24 घंटे में भारतीय चालक दलों वाले जहाज पर दूसरा ड्रोन हमला, लाल सागर में तिरंगा लगे शिप एमवी साईबाबा को बनाया निशाना
लाल सागर में पहली बार भारतीय झंडा लगे जहाज पर ड्रोन हमला किया गया है। इसमें 25 भारतीय चालक दल सवार थे। हमले के बाद सभी चालक दल सुरक्षित बताए जा रहे हैं। इस बीच पेंटागन ने रिपोर्ट दी है कि हूती विद्रोहियों ने भारतीय जहाज को निशाना बनाया है। इसके साथ ही गैबन-ध्वजांकित एमवी साईबाबा जहाज पर भी हमला किया गया है।
लाल सागर में भारतीय झंडा लगे जहाज पर भीषण ड्रोन हमला किया गया है। इसके चालक दलों में 25 भारतीय सवार थे। हमलावरों ने लाल सागर में एमवी साईबाबा जहाज को निशाना बनाया है। इसके साथ ही एक अन्य जहाज पर भी ड्रोन हमला किया गया है। यह भारतीय ध्वज वाला जहाज नहीं है। अमेरिकी मध्य कमान ने कहा है कि दक्षिणी लाल सागर में यमन के हूती विद्रोहियों के ड्रोन हमलों की चपेट में आए दो पोत में से एक भारतीय ध्वज वाला तेल टैंकर भी है। अमेरिका की मध्य कमान ने एक बयान में कहा कि 23 दिसंबर को, यमन के हूती-नियंत्रित क्षेत्रों से दक्षिणी लाल सागर में अंतरराष्ट्रीय पोत लेन में दो बैलिस्टिक मिसाइल दागी गईं। हालांकि, किसी भी जहाज के इन हमलों से प्रभावित होने की सूचना नहीं है।
बयान के मुताबिक, स्थानीय समयानुसार अपराह्न तीन बजे से रात आठ बजे के बीच, यूएसएस लैबून (डीडीजी 58) दक्षिणी लाल सागर में गश्त कर रहा था और इसने यमन में हूती-नियंत्रित क्षेत्रों से आने वाले चार ड्रोन को मार गिराया। यूएसएस लैबून इन ड्रोन के निशाने पर था। इस घटना में कोई हताहत नहीं हुआ और न ही किसी प्रकार की क्षति हुई। इसके मुताबिक, स्थानीय समयानुसार रात करीब आठ बजे अमेरिकी नौसेना बल की मध्य कमान को दक्षिणी लाल सागर में दो पोत से रिपोर्ट मिली कि उन पर हमला किया गया है। बयान के मुताबिक, नॉर्वे के ध्वज वाले तेल टैंकर ‘एम/वी ब्लामानेन’ ने हूती विद्रोहियों के ड्रोन द्वारा उन्हें निशाना बनाए जाने की सूचना दी है, जिसमें किसी के घायल होने या क्षति की सूचना नहीं है। इसके मुताबक, भारतीय ध्वज वाले एक अन्य तेल टैंकर ‘एम/वी साईबाबा’ ने भी उस पर ड्रोन हमले की सूचना दी। इस हमले में भी किसी के घायल होने की सूचना नहीं है।
इससे एक दिन पहले हिंद महासागर में भी एक जहाज को ड्रोन हमले का सामना करना पड़ा था। इसमें भी चालक दलों में 20 भारतीय सवार थे। बीते 24 घंटों में भारतीय चालक दलों वाले जहाज पर यह दूसरा ड्रोन हमला है। पहला हमला अरबसागर में और अब दूसरा हमला लाल सागर में हुआ है।
अरब सागर में कल हुआ था हमला
अरब सागर में करीब 217 समुद्री मील दूर पोरबंदर तट पर एक व्यापारिक जहाज पर शनिवार को संदिग्ध ड्रोन हमला हुआ। जहाज के चालक दल में 21 भारतीय शामिल थे लेकिन हमले में किसी के हताहत होने की खबर नहीं है। भारतीय सेना के सूत्रों और एक समुद्री सुरक्षा एजेंसी ने यह जानकारी दी। यह घटना तब उस वक्त हुयी जब ईरान समर्थित हूती विद्रोहियों ने इजराइल-हमास संघर्ष के बीच लाल सागर में जहाजों पर हमले तेज कर दिए हैं। सूत्रों ने कहा कि ‘यूनाइटेड किंगडम मैरीटाइम ट्रेड ऑपरेशंस’ (यूकेएमटीओ) द्वारा घटना की सूचना दिए जाने के बाद नौसेना के पी-8आई समुद्री गश्ती विमान को जहाज और उसके चालक दल की सुरक्षा के लिए तैनात किया गया। विमान ने जहाज एम वी केम प्लूटो और उसके चालक दल के सुरक्षित होने का पता लगाया।
मदद को भारतीय नौसेना तैनात
उन्होंने बताया कि भारतीय नौसेना ने व्यापारिक जहाज की मदद करने के लिए अग्रिम मोर्चे के एक युद्धपोत को भेजा है जबकि भारतीय तटरक्षक ने भी कार्रवाई करते हुए अपने जहाज आईसीजीएस विक्रम को घटनास्थल के लिए रवाना किया है। ब्रिटेन की रॉयल नेवी के मातहत काम करने वाली यूकेएमटीओ ने कहा कि उसे एक जहाज पर ड्रोन हमले की रिपोर्ट मिली है जिससे विस्फोट हुआ और आग लग गयी। यह घटना भारत में वेरावल से 200 समुद्री मील दक्षिण पश्चिम में हुई। उसने बताया कि आग ‘‘बुझा’’ दी गयी है और कोई हताहत नहीं हुआ है। बताया जा रहा है कि यह जहाज सऊदी अरब के एक बंदरगाह से कच्चा तेल लेकर मंगलुरु बंदरगाह जा रहा था।
सैन्य सूत्रों ने कहा कि जहाज अब निकटतम बंदरगाह की ओर बढ़ रहा है। भारतीय नौसेना के अधिकारियों ने कहा कि क्षेत्र में भेजे गए एक समुद्री गश्ती विमान ने व्यापारिक जहाज के ऊपर से उड़ान भरी और उसके साथ संपर्क स्थापित किया। नौसेना के एक अधिकारी ने कहा, ‘‘विमान ने जहाज और उसके चालक दल की सुरक्षा सुनिश्चित की।’’ सूत्रों ने बताया कि जहाज पर सवार चालक दल के 22 सदस्य और जहाज केम प्लूटो ‘सुरक्षित’ हैं।
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