कराकस: ईरान से गैसोलीन लेकर आ रहे 5 टैंकरों में से पहला टैंकर शनिवार देर रात वेनेजुएला पहुंच गया जिसका मकसद दक्षिण अमेरिकी राष्ट्र को ईंधन की कमी से अस्थायी रूप से राहत देना है। हालांकि ऐसा करते हुए उसने ट्रंप प्रशासन द्वारा अमेरिका के दोनों दुश्मन राष्ट्रों पर लगाए गए प्रतिबंधों का उल्लंघन किया। तेल टैंकर ‘फॉर्च्यून’ आसानी से कैरिबियाई जलक्षेत्र के माध्यम से वेनेजुएलियाई तट पर पहुंच गया और वेनेजुएला के अधिकारियों ने आगमन का जश्न मनाया।
इस दौरान पोत को अमेरिका की ओर से तत्काल किसी हस्तक्षेप का सामना नहीं करना पड़ा। वेनेजुएला के विदेश मंत्री जॉर्ज अरियजा ने ट्वीट किया, ‘ईरान और वेनेजुएला ने बुरे वक्त में हमेशा एक-दूसरे का साथ दिया है। आज, गैसोलीन के साथ पहला पोत हमारे लोगों के लिए पहुंच गया।’ टैंकर और उसके पीछे चल रहे 4 और पोत ईरान और वेनेजुएला के बीच फलीभूत हो रहे संबंधों के बीच खुले सागर का सफर समाप्त करने की ओर हैं। वॉशिंगटन का कहना है कि दोनों देशों का शासन दमनकारी है।
मियामी स्थित निवेश कंपनी कराकस कैपिटल मार्केट्स के प्रमुख रस डालेन ने पोत का पता लगाने की प्रौद्योगिकी का इस्तेमाल कर ‘फॉर्च्यून’ की लोकेशन की पुष्टि की। उन्होंने कहा कि 5 में से सबसे अंतिम पोत, अगुआ टैंकर से करीब साढ़े तीन दिन पीछे चल रहा है। वेनेजुएला के पास विश्व का सबसे बड़ा तेल भंडार है लेकिन उसे गैसोलीन के आयात की जरूरत पड़ती है क्योंकि पिछले दो दशक में इसका उत्पादन बुरी तरह प्रभावित हुआ है।
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