वियना: क्यूबा के विदेश मंत्री ब्रूनो रॉड्रिग्ज पारिला ने कहा कि क्यूबा दबाव में न तो अमेरिका से कोई वार्ता करेगा और न ही उसे कोई रियायत देगा। समाचार एजेंसी सिन्हुआ की रिपोर्ट के अनुसार, क्यूबा के विदेश मंत्री ने सोमवार को अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा क्यूबा की यात्रा करने वाले अमेरिकियों पर कड़े प्रतिबंध लगाने के आदेश के जवाब में यह टिप्पणी की। (मसूद अजहर पर चीन के रुख में कोई बदलाव नहीं कहा- पुख्ता सबूतों की कमी)
उन्होंने कहा कि अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप की नीति नासमझी भरी है और यह पहले की असफल नीति की ओर लौटना है। उन्होंने कहा, "क्यूबा दबाव में कभी बातचीत नहीं करेगा।" ब्रूनो ने कहा कि उनके देश की संप्रभुता और स्वतंत्रता का सम्मान किया जाना चाहिए। क्यूबा के मंत्री ने कहा कि उनके देश को अभी भी ट्रंप नीति के नकारात्मक प्रभावों का विश्लेषण करने के लिए इंतजार करना पड़ेगा।
क्यूबा पर पुरानी असफल नीति के प्रति ट्रंप के आग्रह पर सवाल उठाते हुए ब्रूनो ने कहा कि क्यूबा के पास अमेरिका के साथ संबंध सामान्य करने के लिए धैर्य है। उन्होंने कहा कि ट्रंप की नीति से न केवल क्यूबा से बल्कि पूरे लैटिन अमेरिका से अमेरिका के रिश्ते प्रभावित होंगे।
ट्रंप ने पिछले शुक्रवार को क्यूबा की यात्रा करने वाले अमेरिकियों पर कड़े प्रतिबंध और क्यूबा की सेना के साथ अमेरिकी व्यापार पर रोक लगाने का आदेश दिया था। यह पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा की क्यूबा नीति में बदलाव है। इसकी वजह ट्रंप ने यह बताई है कि यात्रा और व्यापार पर प्रतिबंध कम करने से क्यूबा के लोगों की मदद नहीं हो रही है। ट्रंप ने क्यूबा में लोकतंत्र व मानवाधिकारों का मुद्दा उठाया है।
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