कोलकाता: पश्चिम बंगाल के राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने बुधवार को कहा कि पूर्व मंत्री शुभेंदु अधिकारी ने उनसे हस्तक्षेप करने का अनुरोध किया है ताकि राज्य की पुलिस ‘राजनीतिक प्रतिशोध’ के तहत उन्हें आपराधिक मामले में ना फंसाए। अधिकारी द्वारा राज्यपाल को लिखे गए एक पत्र की एक प्रति साझा करते हुए धनखड़ ने कहा कि वह ‘अपेक्षित कदम’ उठा रहे हैं। तृणमूल कांग्रेस छोड़कर भारतीय जनता पार्टी में शामिल होने की चर्चाओं के बीच शुभेंदु के विधायक पद से इस्तीफा देने के कुछ घंटे बाद यह पत्र सामने आया।
गवर्नर में अपने ट्विटर पर साझा की शुभेंदु की चिट्ठी
शुभेंदु अधिकारी ने बंगाल के राज्यपाल को लिखे इस पत्र में कहा है, ‘संवैधानिक प्रमुख होने के नाते मैं आपसे हस्तक्षेप करने का अनुरोध करने के लिए विवश हूं ताकि राज्य में पुलिस और प्रशासन राजनीति से प्रेरित होकर और प्रतिशोध के तहत मुझे और मेरे सहयोगियों को आपराधिक मामले में ना उलझाए।’ इस पत्र को गवर्नर ने अपने ट्विटर पर साझा किया है। कर्तव्य और जनकल्याण की भावना से मंत्री पद छोड़ने का दावा करते हुए अधिकारी ने लिखा है कि राजनीतिक रुख में बदलाव के कारण प्राधिकार उनके खिलाफ प्रतिशोध के लिए उकसा सकता है।
27 नवंबर को शुभेंदु ने मंत्रिमंडल से दिया था इस्तीफा
बता दें कि शुभेंदु ने 27 नवंबर को राज्य मंत्रिमंडल से इस्तीफा दे दिया था। इसके बाद पिछले कई दिनों से लग रही अटकलों पर विराम लगाते हुए शुभेंदु ने बुधवार को विधायक पद से भी इस्तीफा दे दिया। उन्होंने पश्चिम बंगाल विधानसभा सचिव को अपना इस्तीफा सौंपा था। विधायक पद से इस्तीफा देने के कुछ घंटे बाद बुधवार को वरिष्ठ सांसद सुनील मंडल और आसनसोल नगर निगम के प्रमुख जितेंद्र तिवारी समेत पार्टी के असंतुष्ट नेताओं के साथ मुलाकात की। वहीं, तृणमूल कांग्रेस के नेतृत्व ने घटनाक्रम को बहुत तवज्जो नहीं दी और कहा कि पार्टी से जो जाना चाहते हैं वह जाने के लिए आजाद हैं।