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Hindi News उत्तर प्रदेश यूपी में 69 हजार शिक्षक भर्ती मामले में हाईकोर्ट के फैसले पर केशव मौर्या का आया रिएक्शन, जानें क्या कहा

यूपी में 69 हजार शिक्षक भर्ती मामले में हाईकोर्ट के फैसले पर केशव मौर्या का आया रिएक्शन, जानें क्या कहा

अदालत ने अपना फैसला 13 अगस्त को ही सुनाया था किन्तु उसकी कॉपी वेबसाइट पर शुक्रवार को डाली गयी। पीठ ने इस सम्बंध में 13 मार्च 2023 के एकल पीठ के आदेश को संशोधित करते हुए यह भी फैसला सुनाया कि सामान्य श्रेणी के लिए निर्धारित मेरिट में आने पर आरक्षित वर्ग के अभ्यर्थी को सामान्य श्रेणी में ही जगह दी जाएगी।

Keshav mourya- India TV Hindi Image Source : PTI केशव प्रसाद मौर्य, डिप्टी सीएम

लखनऊ:  उत्तर प्रदेश में 69 हजार सहायक शिक्षक अभ्यर्थियों की बेसिक शिक्षा विभाग द्वारा तैयार की गई चयनित अभ्यर्थियों की सूची को इलाहाबाद हाईकोर्ट ने रद्द करते हुए नए सिरे से चयन सूची बनाने का आदेश दिया है। हाईकोर्ट के इस फैसले का यूपी के डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य ने स्वागत किया है। 

दरअसल, इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच ने सहायक शिक्षक भर्ती परीक्षा (एटीआरई) के तहत 69 हजार शिक्षकों की नियुक्ति के लिए जून 2020 में जारी चयन सूची एवं 6800 अभ्यर्थियों की पांच जनवरी 2022 की चयन सूची को दरकिनार कर नए सिरे से सूची बनाने के आदेश दिए हैं। इससे पहले एकल पीठ ने 69 हजार अभ्यर्थियों की चयन सूची पर पुनर्विचार करने के साथ-साथ 6800 अभ्यर्थियों की पांच जनवरी 2022 की चयन सूची को खारिज कर दिया था। 

मौजूदा सत्र का लाभ 

जस्टिस ए आर मसूदी एवं जस्टिस बृजराज सिंह की पीठ ने महेंद्र पाल एवं अन्य द्वारा एकल पीठ के आदेश के खिलाफ दायर की गयी 90 विशेष अपीलों को एक साथ निस्तारित करते हुए नयी सूची बनाने के आदेश दिये। पीठ ने कहा है कि नयी चयन सूची बनाते समय यदि वर्तमान में कार्यरत किसी सहायक शिक्षक पर विपरीत असर पड़ता है तो मौजूदा सत्र का लाभ दिया जाये ताकि छात्रों की पढ़ाई पर खराब असर न पड़े। 

शुक्रवार को आया फैसला

हाईकोर्ट ने मामले में सुनवाई पूरी कर अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था। पीठ ने अपना फैसला 13 अगस्त को ही सुनाया था किन्तु उसकी प्रति वेबसाइट पर शुक्रवार को डाली गयी। पीठ ने इस सम्बंध में 13 मार्च 2023 के एकल पीठ के आदेश को संशोधित करते हुए यह भी फैसला सुनाया कि सामान्य श्रेणी के लिए निर्धारित मेरिट में आने पर आरक्षित वर्ग के अभ्यर्थी को सामान्य श्रेणी में ही जगह दी जाएगी। 

तीन माह में नई सूची जारी होगी

हाईकोर्ट ने इसी भर्ती परीक्षा के क्रम में आरक्षित वर्ग के अतिरिक्त 6800 अभ्यर्थियों की पांच जनवरी 2022 की चयन सूची को खारिज करने के एकल पीठ के निर्णय में कोई हस्तक्षेप करने से इनकार कर दिया है। हाईकोर्ट ने सरकार एवं अन्य संबंधित निकायों को आदेश दिया है कि तीन माह में नई सूची जारी करने की कार्यवाही पूर्ण कर ली जाए। 

क्या था एकल पीठ का फैसला?

याचिकाकर्ताओं ने विशेष अपीलों के माध्यम से एकल पीठ के 13 मार्च 2023 के निर्णय को चुनौती दी थी। एकल पीठ ने 69 हजार अभ्यर्थियों की चयन सूची पर पुनर्विचार करने के साथ-साथ 6800 अभ्यर्थियों की पांच जनवरी 2022 की चयन सूची को खारिज कर दिया था। एकल पीठ ने अपने निर्णय में कहा था कि शिक्षक पात्रता परीक्षा (टीईटी) में आरक्षण का लाभ लेने वाले अभ्यर्थियों को सामान्य श्रेणी का ‘कट ऑफ मार्क्स’ पाने पर अनारक्षित वर्ग में रखा जाना सही है क्योंकि टीईटी एक अभ्यर्थी को सिर्फ सहायक शिक्षक भर्ती परीक्षा में भाग लेने के लिए उपयुक्त बनाता है। याचिकाकर्ताओं ने 69 हजार शिक्षकों की नियुक्ति में राज्य के अधिकारियों द्वारा प्रदान किए गए आरक्षण की शुद्धता और 6800 शिक्षकों की नियुक्ति की वैधता को चुनौती दी थी। (इनपुट-एजेंसी)