A
Hindi News उत्तर प्रदेश संभल के मंदिर-मस्जिद विवाद से जुड़ी बड़ी खबर, हाईकोर्ट ने जिला कोर्ट में चल रहे मुकदमे की सुनवाई पर लगाई रोक

संभल के मंदिर-मस्जिद विवाद से जुड़ी बड़ी खबर, हाईकोर्ट ने जिला कोर्ट में चल रहे मुकदमे की सुनवाई पर लगाई रोक

संभल की शाही जामा मस्जिद की इंतजामियां कमेटी की तरफ से दाखिल याचिका पर सुनवाई करते हुए इलाहाबाद हाईकोर्ट ने लगाई रोक

इलाहाबाद हाईकोर्ट- India TV Hindi Image Source : ANI इलाहाबाद हाईकोर्ट

प्रयागराज: संभल के मंदिर मस्जिद विवाद से जुड़ी बड़ी खबर सामने आ रही है। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने संभल की जिला कोर्ट में चल रहे मुकदमे की सुनवाई पर रोक लगा दी है। संभल की शाही जामा मस्जिद की इंतजामियां कमेटी की तरफ से दाखिल याचिका पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने ये रोक लगाई। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने सभी पक्षकारों से जवाब दाखिल करने को कहा है। पक्षकारों को चार हफ्ते में जवाब दाखिल करना होगा। पक्षकारों के जवाब पर मस्जिद कमेटी को दो हफ्ते में अपना रिज्वांइडर यानी प्रत्युत्तर दाखिल करना होगा।  

मुस्लिम पक्ष को फौरी राहत मिली

इलाहाबाद हाईकोर्ट से जिला अदालत में चल रही मुकदमे की सुनवाई पर रोक लगने से मुस्लिम पक्ष को फौरी राहत मिली है। जानकारी के अनुसार, हाईकोर्ट में आज जस्टिस रोहित रंजन अग्रवाल की सिंगल बेंच में मामले की सुनवाई हुई। हाई कोर्ट इस मामले में 25 फरवरी को फिर से सुनवाई करेगी। 25 फरवरी को फ्रेश केस के तौर पर मामले की सुनवाई होगी। 

19 नवंबर को कोर्ट में दाखिल हुआ था मुकदमा

 संभल की जिला अदालत में 19 नवंबर को हरिशंकर जैन व अन्य की तरफ से मुकदमा दाखिल किया गया था। हिंदू पक्ष की तरफ से दावा किया था कि मुगल काल की शाही जामा मस्जिद उस स्थान पर बनाई गई थी जहां कभी हरिहर मंदिर था। अदालत ने मस्जिद परिसर के सर्वेक्षण का आदेश दिया, जिससे क्षेत्र में तनाव फैल गया था और 24 नवंबर को हिंसा हुई। 24 नवंबर को दूसरे सर्वेक्षण के दौरान प्रदर्शनकारी पुलिस से भिड़ गए और पथराव और आगजनी में चार लोगों की मौत हो गई और कई अन्य घायल हो गए। 

बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने सभी निचली अदालतों को निर्देश दिया है कि वे अगले आदेश तक किसी भी पूजा स्थल के सर्वेक्षण की मांग करने वाले नए मुकदमों पर सुनवाई न करें। मुस्लिम पक्ष का प्रतिनिधित्व करने वाले वकील शकील अहमद वारी ने कहा कि हमने अदालत में उक्त आदेश की एक प्रति दाखिल की है, जिसने सुनवाई की अगली तारीख 5 मार्च तय की है।