ओवैसी को उनके ही गढ़ में कैसे देंगी चुनौती? बीजेपी की माधवी लता ने बताया
हैदराबाद सीट से बीजेपी ने असदुद्दीन ओवैसी के खिलाफ कोम्पेला माधवी लता टिकट दिया है। अपनी उम्मीदवारी को लेकर माधवी लता ने ओवैसी पर जमकर हमले बोले।
लोकसभा चुनाव में हैदराबाद सीट से AIMIM के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी के खिलाफ बीजेपी ने कोम्पेला माधवी लता को मैदान में उतारा है। इसको लेकर माधवी लता ने कहा कि ब मेरे नाम की घोषणा हुई तो मुझे बहुत खुशी हुई। उन्होंने कहा कि पिछले 5 सालों में पीएम मोदी जो योजनाएं लेकर आए, वे पुराने शहर के लोगों, खासकर मुसलमानों तक नहीं पहुंचीं। एमपी साहब (ओवैसी) ने उन्हें जनता के सामने लाने के लिए कोई प्रयास नहीं किया है। माधवी लता ने कहा कि वह (ओवैसी) संसद में अल्पसंख्यकों की बात करते हैं, लेकिन उनके अपने निर्वाचन क्षेत्र में हिंदू अल्पसंख्यक हैं, क्या उन्होंने उनके लिए आवाज उठाई?
ओवैसी से टक्कर कितना आसान?
बीजेपी की हैदराबाद से उम्मीदवार माधवी लता ने आगे कहा कि मैं धर्म के आधार पर नहीं, विकास के आधार पर काम करूंगी। मैं महिलाओं के कल्याण के लिए काम करूंगी। मैं बांटो और राज करो की नहीं, बल्कि विकास की बात करूंगी। महिला के तौर पर वोट मांगूंगी, महिलाओं के विकास के लिए वोट मांगूंगी, उनका विकास होगा तो सब का विकास होगा। जब माधवी से ये सवाल किया गया कि असदुद्दीन ओवैसी के गढ़ में आप पहली बार चुनाव लड़ने जा रही हैं, ओवैसी से टक्कर कितना आसान है? इस पर माधवी लता ने कहा कि मेरे लिए सबसे बड़े भगवान हैं, ओवैसी जी नहीं, इसलिए कोई डर नहीं है।
सनातन धर्मी होकर कैसे समन्वय बनाएंगी?
कोम्पेला माधवी लता ने आगे कहा कि पुराना शहर, ये वो जगह है जहां धर्म के नाम पर भी वोट डाले जाते हैं। माधवी लता से जब ये पूछा गया कि आप हिन्दू और सनातन धर्म के प्रचारक के तौर पर जानी जाती रही हैं तो फिर आप कैसे समन्वय बनाएंगी? इस पर माधवी ने कहा कि मैं सनातन धर्मी हूं, लेकिन इसका मतलब ये नहीं कि मैं मेरे भगवानों से सिर्फ हिन्दुओं के लिए ही प्रार्थना करूंगी। मैं पूरी इंसानियत के बारे मे सोचती हूं। हिन्दू हूं लेकिन मुसलमानों के ख़िलाफ़ नहीं हूं। जैसे मोदी जी ने सब्सिडी वाले सिलेंडर पर हिन्दू लिख कर दिए है क्या?
असदुद्दीन ओवैसी पर किया हमला
वहीं इस दौरान माधवी लता ने कहा कि पुराने शहर में CAA एहतियाती मुद्दा है। लोग झूठ फैला रहे हैं, मुसलमान यहां पर सालों से हैं ये उनके लिए नहीं है। जो रोहिग्या यहां आकर मुसलमानों का हक छीन रहे हैं, ये उनके ख़िलाफ़ है। असदुद्दीन भाई तीन तलाक का समर्थन नहीं करते, ना सीएए का जो मुसलमानों के भले के लिए है।
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