CWG 2022: बर्मिंघम राष्ट्रमंडल खेलों में भारतीय खिलाड़ियों ने शानदार प्रदर्शन करते हुए बिना शूटिंग के ही 61 पदक जीते जिसमें 22 गोल्ड मेडल शामिल थे। भारतीय एथलीट्स के इस दमदार प्रदर्शन के बाद उनके स्वदेश लौटने पर उनके गृह प्रदेश की सरकारों ने उन्हें सम्मानित करने की योजना बना ली है। जहां बुधवार को उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने यूपी के खिलाड़ियों को सम्मानित करने की घोषणा की थी। वहीं उसके बाद हिमाचल प्रदेश की जयराम ठाकुर सरकार ने भी इसी दिशा में कदम बढ़ा दिया है।
हिमाचल प्रदेश सरकार कॉमनेवल्थ गेम्स 2022 में भारत के लिए पदक जीतने वाले खिलाड़ियों को नगद पुरस्कार राशि और सरकारी नौकरी देने का ऐलान किया है। आपको बता दें भारतीय महिला क्रिकेट टीम की स्टार गेंदबाज रेणुका सिंह ठाकुर हिमाचल से ही हैं। उनके अलावा वेटलिफ्टर विकास ठाकुर और मुक्केबाज आशीष चौधरी भी यहीं से आते हैं। रेणुका और विकास को सरकार द्वारा एक-एक करोड़ रुपए की राशि दी जाएगी। जबकि, मुक्केबाज आशीष चौधरी को दस लाख रुपए मिलेंगे। साथ ही पदक जीतने वाले खिलाड़ियों को क्लास वन अफसर की नौकरी का भी प्रस्ताव दिया जाएगा।
रेणुका सिंह ठाकुर ने किया कमाल
बर्मिंघम कॉमनवेल्थ गेम्स में पहली बार महिला क्रिकेट को जगह मिली। भारतीय महिला क्रिकेट टीम ने ऐतिहासिक सिल्वर मेडल भी जीता। भारत के लिए इस टूर्नामेंट में तेज गेंदबाज रेणुका सिंह ठाकुर ने दमदार प्रदर्शन करते हुए 11 विकेट हासिल किए। शिमला की रहने वाली रेणुका को उनकी प्रदेश सरकार इनामी राशी और सरकारी नौकरी से पुरस्कृत करेगी। इसके अलावा वेटलिफ्टिंग में हमीरपुर जिले के विकास ठाकुर ने भी रजत जीता उन्हें भी सरकार रेणुका के बराबर ही सम्मानित करेगी। साथ ही मंडी के सुदंरनगर के रहने वाले मुक्केबाज आशीष चौधरी भी भारतीय दल का हिस्सा थे। आशीष पदक नहीं जीत पाए लेकिन फिर भी सरकार उन्हें सम्मानित करेगी।
खिलाड़ियों का बढ़ेगा मनोबल- खेल मंत्री
खेल मंत्री राकेश पठानिया ने इसको लेकर कहा कि, इससे खिलाड़ियों का मनोबल बढ़ेगा। उन्होंने कहा कि, कॉमनवेल्थ गेम्स में पदक जीतने वाले खिलाड़ियों को सरकार एक-एक करोड़ रुपए देकर सम्मानित करेगी। इसके अलावा प्रतिभागी खिलाड़ी को दस लाख रुपए दिए जाएंगे। प्रदेश में नई खेल नीति लागू हो चुकी है जिसके मुताबिक मेडल विजेता खिलाड़ियों को इनामी राशि देकर सम्मानित किया जाएगा। इसमें यह भी प्रावधान है कि मेडल विजेताओं को प्रदेश में क्लास वन नौकरी भी दी जाएगी।