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Hindi News खेल अन्य खेल शतरंज के 'रैपिड प्रारूप' में विश्व चैम्पियन का ख़िताब जीतना अप्रत्याशित- कोनेरू हंपी

शतरंज के 'रैपिड प्रारूप' में विश्व चैम्पियन का ख़िताब जीतना अप्रत्याशित- कोनेरू हंपी

हंपी बेटी के जन्म के बाद दो साल तक खेल से बाहर रही लेकिन इस 32 वर्षीय खिलाड़ी ने कहा कि उन्होंने कभी खेल नहीं छोड़ा था।

Koneru Humpy- India TV Hindi Image Source : TWITTER Koneru Humpy

चेन्नई| भारत की नयी विश्व चैंपियन कोनेरू हंपी ने कहा कि विश्व खिताब जीतना सपना सच होने जैसा है लेकिन रैपिड प्रारूप में यह उपलब्धि हासिल करने से वह भी हैरान थी क्योंकि वह हमेशा क्लासिकल प्रारूप में दावेदार रही हैं। हंपी ने मास्को में विश्व रैपिड एवं ब्लिट्ज टूर्नामेंट में रैपिड वर्ग का खिताब जीतकर वर्ष 2019 का शानदार अंत किया। 

उन्होंने मास्को से स्वदेश लौटने पर पीटीआई से कहा, ‘‘यह मेरा पहला विश्व खिताब है। लोग लंबे समय से उम्मीद लगाये हुए थे कि मैं विश्व चैंपियन बनूं और यह वास्तव में अप्रत्याशित है। मैं रैपिड टूर्नामेंट में खिताब की दावेदार नहीं थी। मैंने अच्छा प्रदर्शन किया और यह टाईब्रेकर तक खिंच गया। ’’ 

हंपी रैपिड की सफलता के बाद ब्लिट्ज में 12वें स्थान पर रही। उन्होंने कहा कि उनका लक्ष्य क्लासिकल प्रारूप में विश्व खिताब जीतना है और वह इसे हासिल करने की कोशिश करेगी। वह 2011 में क्लासिकल प्रारूप की विश्व चैंपियनशिप के फाइनल में होउ यिफान से हार गयी थी। 

हंपी ने कहा, ‘‘मैं हमेशा दावेदार रही लेकिन कभी चैंपियन नहीं बन पायी। मैं इसके करीब तक पहुंची। मैं इसके लिये प्रयास जारी रखूंगी। जब इसे मुझे जीतना होगा तो मैं इसे जीतने में सफल रहूंगी। क्लासिकल विश्व खिताब के लिये पूरी तरह से भिन्न चुनौती होती है। आपको भिन्न प्रारूप के लिये अलग तरह के कौशल की जरूरत होती है। मैं इस बड़े लक्ष्य को हासिल करने के लिये अपना सर्वश्रेष्ठ प्रयास जारी रखूंगी। ’’ 

हंपी बेटी के जन्म के बाद दो साल तक खेल से बाहर रही लेकिन इस 32 वर्षीय खिलाड़ी ने कहा कि उन्होंने कभी खेल नहीं छोड़ा था। उन्होंने कहा, ‘‘मैं वापसी करना चाहती थी और यह पूर्व नियोजित था। बेटी के जन्म के बाद मैंने सोचा कि जब वह एक साल की हो जाएगी तो मैं टूर्नामेंट में खेलने पर फैसला करूंगी। निश्चित तौर पर शुरुआती टूर्नामेंट में मेरा प्रदर्शन अच्छा नहीं रहा। ’’ 

हंपी ने कहा, ‘‘यह स्वाभाविक था कि लंबे समय तक बाहर रहने के बाद उच्च पेशेवर स्तर पर सफलता हासिल करना आसान नहीं था। जनवरी से मैंने अच्छा खेलना शुरू किया। मैंने जिब्राल्टर से शुरुआत की थी और वहां अच्छा प्रदर्शन किया था।’’ 

उन्होंने सितंबर में रूस में महिला ग्रां प्री जीती और मोनाको ग्रां प्री में संयुक्त पहले स्थान पर रही थी। चीनी लीग में वह सर्वश्रेष्ठ विदेशी खिलाड़ी रही जहां वह अजेय रही थी। हंपी ने कहा, ‘‘कुल मिलाकर वर्ष (2019) में मैंने अच्छा प्रदर्शन किया तथा क्लासिकल में 30 रेटिंग अंक और रैपिड में लगभग 45 अंक हासिल किये। ’’