उम्र के कारण पॉल को बाहर नहीं रखना चाहिए, प्रदर्शन मायने रखता है : भास्कर गांगुली
गांगुली ने आईएएनएस से बातचीत में कहा, "मुझे नहीं लगता कि उम्र मायने रखता है, बल्कि प्रदर्शन मायने रखता है।"
नई दिल्ली। अफगानिस्तान और ओमान के खिलाफ होने वाले फीफा विश्व कप क्वालीफायर मुकाबलों के लिए गोलकीपर धीरज सिंह का चयन करके भारतीय फुटबॉल टीम के मुख्य कोच इगोर स्टीमाक ने एक बार फिर संकेत दे दिए हैं कि वह युवा खिलाड़ियों पर अधिक भरोसा करते हैं और अब शायद अनुभवी सुब्रत पॉल को दोबारा टीम में मौका न मिले।
भारत के पूर्व दिग्गज गोलकीपर भास्कर गांगुली का हालांकि मानना है कि पॉल का आकलन उनकी उम्र से नहीं, बल्कि प्रदर्शन से करना चाहिए।
गांगुली ने आईएएनएस से बातचीत में कहा, "मुझे नहीं लगता कि उम्र मायने रखता है, बल्कि प्रदर्शन मायने रखता है। अगर कोई अच्छा प्रदर्शन करता है तो उसे हटाने का सवाल ही पैदा नहीं होता। एक समय हर किसी को जाना होता है, लेकिन अगर कोई लगातार बेहतरीन प्रदर्शन करता है, तो उस पर विचार करने की जरूरत है।"
भारतीय टीम में फिलहाल, गुरप्रीत सिंह संधू नंबर-1 गोलकीपर हैं और धीरज को टीम में शामिल किए जाने का मतलब है कि स्टीमाक उन्हें भविष्य के लिए तैयार करना चाहते हैं। हालांकि, गांगुली मानते हैं कि सुब्रत को नजरअंदाज करना गलत है और वह बाकी खिलाड़ियों से अच्छे भी हैं।
उन्होंने यह भी कहा कि जो खिलाड़ी पिछले छह या सात साल से लीग में खेल रहे हैं, उन्हें अभी भी जूनियर कहा जाता है।
गांगुली ने कहा, "क्या वे सही में जूनियर हैं? भारतीय टीम के साथ भी यही चीज है। एक ऐसा खिलाड़ी जो कई वर्षो से सर्किट में है, उसे भारतीय टीम में मौका मिलता है और हम अभी भी उसे जूनियर कहते हैं।"
गांगुली ने पॉल से जुड़े डोपिंग के मुद्दे को भी गलत ठहराया। उन्होंने कहा, "उनके टीम में न चुने जाने का कारण डोपिंग नहीं हो सकता। वह दोषी करार नहीं दिए गए और अगर वह दोषी होते तो उन्हें आईएसएल में भी नहीं खेलने दिया जाता।"
इस सीजन पॉल ने आईएसएल में जमशेदपुर के लिए दमदार प्रदर्शन किया है। वह भारत के लिए 76 मैच खेल चुके हैं।