नई दिल्ली। विश्व कप सेमीफाइनल में न्यूजीलैंड से मिली हार की कड़वी यादें अब भी युजवेंद्र चहल के दिमाग में ताजा है और इस लेग स्पिनर ने कहा कि ओल्ड ट्रैफर्ड में खेले गये मैच में जब महेंद्र सिंह धोनी आउट हुए तो उनके लिये अपने आंसू रोकना मुश्किल हो गया था।
भारत के सामने 240 रन का लक्ष्य था और धोनी के 49वें ओवर में आउट होने के बाद चहल बल्लेबाजी के लिये उतरे थे। भारत ने बारिश से प्रभावित यह मैच 18 रन से गंवाया था।
भारत का स्कोर एक समय छह विकेट पर 92 रन था लेकिन धोनी ने रविंद्र जडेजा के साथ 116 रन की साझेदारी करके टीम को जीत के करीब पहुंचा दिया था। धोनी के 50 रन के निजी योग पर रन आउट होने के बाद भारत की जीत की उम्मीदें समाप्त हो गयी थी।
चहल ने ‘इंडिया टुडे माइंड रॉक्स यूथ समिट’ में कहा, ‘‘यह मेरा पहला विश्वकप था और माही भाई (धोनी) के आउट होने पर मुझे बल्लेबाजी के लिये जाना था। मैं अपने आंसू रोकने की कोशिश कर रहा था। यह काफी तनावपूर्ण था। ’’
उन्होंने कहा, ‘‘हम नौ मैचों में बहुत अच्छा खेले लेकिन अचानक हम टूर्नामेंट से बाहर हो जाते हैं। बारिश पर हमारा वश नहीं है इसलिए (व्यवधान के लिये) कुछ कहना सही नहीं होगा। यह पहला अवसर था जबकि हम वास्तव में मैदान से जल्द से जल्द होटल लौटना चाहते थे। ’’
भारत लीग चरण में नौ मैचों में सात जीत से शीर्ष पर रहा था। चहल ने कहा कि वह अगले पांच छह साल तक खेलना चाहते हैं और उनका एकमात्र लक्ष्य भारत की विश्व कप विजेता टीम का हिस्सा बनना है।
उन्होंने कहा, ‘‘मैं पांच छह साल तक खेलना जारी रखना चाहता हूं। मैं कम से कम एक विश्व कप जीतना चाहता हूं। मेरा मानना है कि अभी हम जिस तरह से खेल रहे हैं और हमारी टीम जैसी स्थिति में है वह सकारात्मक संकेत हैं। ’’
चहल ने कहा, ‘‘हम न्यूजीलैंड, ऑस्ट्रेलिया और वेस्टइंडीज में जीते और अगर हम अगले साल टी20 विश्व कप में जीत दर्ज करते हैं तो आलोचक अपने आप चुप हो जाएंगे।’’
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