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Hindi News खेल क्रिकेट आमिर सोहेल के साथ वर्ल्ड कप 1996 में हुई स्लेजिंग को वेंकटेश प्रसाद ने किया याद, बताई पूरी कहानी!

आमिर सोहेल के साथ वर्ल्ड कप 1996 में हुई स्लेजिंग को वेंकटेश प्रसाद ने किया याद, बताई पूरी कहानी!

आमिर सोहेल के उस शॉट के बारे में वेंकटेश ने कहा कि वो वास्तव में एक थप्पड़ जैसा था। वह आगे बढ़ा और उसने एक्सट्रा कवर की दिशा में शॉट लगा दिया। मैं उसके आगे बढ़ने की उम्मीद नहीं कर रहा था। 

Venkatesh Prasad recalls the sledding of 1996 World Cup with Aamir Sohail- India TV Hindi Image Source : TWITTER/BCCI Venkatesh Prasad recalls the sledding of 1996 World Cup with Aamir Sohail

भारत और पाकिस्तान के बीच जब भी मैच होता है तो वो हाई वोलटेज ड्रामे से कम नहीं होता। इस दौरान खिलाड़ियों के साथ-साथ दर्शक भी पूरे जोश में रहते हैं। कई बार मैच के दौरान माहौल इतना गर्म हो जाता है कि खिलाड़ी एक दूसरे से मैदान पर ही भिड़ जाते हैं। ऐसी ही एक भिड़ंत 1996 वर्ल्ड कप की है जो आमिर सोहेल और वेंकटेश प्रसाद के बीच हुई थी। इस भिड़ंत से अब पर्दा उठाते हुए वेंकटेश प्रसाद ने बताया है कि उस दौरान उनकी आमिर सोहेल से क्या बातचीत हुई थी।

भारतीय स्पिनर आर अश्विन के यूट्यूब चैनल पर वेंकटेश ने उस भिड़ंत के बारे में बताया "अगर उस विशेष घटना के बारे में बात करूं तो वो वर्ल्ड कप का क्वाटर फाइनल मैच था। अगर आप हार जाते हो तो आपको टूर्नामेंट से बाहर होना पड़ेगा। और यह भारत पाकिस्तान मुकाबला भी था, आप जानते हो कि इसमें कैसा महसूस होता है। मीडिया द्वारा उम्मीदों और प्रचार के बाद हमारे लिए सेमीफाइनल में पहुंचना जरूरी हो गया था।"

आमिर सोहेल के उस शॉट के बारे में वेंकटेश ने कहा कि वो वास्तव में एक थप्पड़ जैसा था। वह आगे बढ़ा और उसने एक्सट्रा कवर की दिशा में शॉट लगा दिया। मैं उसके आगे बढ़ने की उम्मीद नहीं कर रहा था। वह काफी दबाव वाला मैच था। स्टेडियम में 35000 लोग मौजूद थे।

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इस घटना से पहले वेंकटेश बाउंड्री पर फाइन लेग की दिशा में फील्डिंग कर रहे थे। पाकिस्तानी बल्लेबाज जिस अंदाज में भारतीय गेंदबाजों की धुनाई कर रहे थे उसे देखकर वेंकटेश को लगने लगा था कि पाकिस्तान ये मैच 45 ओवर में ही जीत जाएगी। मैदान पर बैठे दर्शक विश्वस नहीं कर पा रहे थे कि ये चल क्या रहा है।

वेंकटेश ने बताया "उसने चौका लगाने के बाद अपनी उंगली और बैट मुझे दिखाकर उस दिशा में इशारा किया जहां उन्होंने चौका लगाया था। जब गेंद डालकर मैंने अपना फॉलो थ्रू पूरा किया तो उसने मुझसे कुछ कहा, वो कहेगा कि मैं उसको सुन नहीं सकता था, लेकिन मैं उसके काफी करीब था। उसने कहा था 'मैं अगली गेंद पर फिर तुम्हें वहीं मारूंगा' तब मैंने कुछ कहा और वापस चला गया।"

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ऐसे मौकों पर खिलाड़ी को शांत और अपने बेसिक पर बने रहने की जरूरत होती है। वेंकटेश ने भी ऐसा ही किया। वेंकटेश ने बताया "तब मैंने फैसला किया कि मैं वही करूंगा जिसका मैं जीवन भर अभ्यास करता हुआ आया हूं। बल्लेबाज को जगह ना दूं और गेंद विकेट टू विकेट डालूं। तब मैंने अपना समर्थन किया और खुद को शांत रखा। मैंने पिछली गेंद पर क्या हुआ वो भुला दिया और अगली गेंद पर क्या करना है इसके बारे में सोचा।"

वेंकटेश ने अगली ही गेंद पर आमिर सोहेल को बोल्डर कर पवेलियन का रास्ता दिखाया। इस वजह से कहा जाता है अगर आप अपने गुस्से को सही जगह इस्तेमाल करोगे तो उसका आपका ही फायदा होगा।

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