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Hindi News खेल क्रिकेट शार्दुल ठाकुर ने किया उस पल को याद जब धोनी ने उन्हें बल्लेबाजी में दी थी खास टिप्स

शार्दुल ठाकुर ने किया उस पल को याद जब धोनी ने उन्हें बल्लेबाजी में दी थी खास टिप्स

एक बार मैं माही भाई के कमरे में था। उन्होंने मुझसे कहा कि मैं बल्ला बहुत ऊपर से पकड़ता हूं मुझे बैट को थोड़ा नीचे से पकड़ना चाहिए ताकि शॉट पर बेहतर नियंत्रण बन पाए। अब मैं अपना बल्ला वहीं पकड़ता हूं और इससे मुझे मदद मिलती है।

Shardul Thakur remembers the moment when Dhoni gave him special tips in batting- India TV Hindi Image Source : IPLT20.COM Shardul Thakur remembers the moment when Dhoni gave him special tips in batting

मुंबई। भारतीय टीम के खिलाड़ी शार्दुल ठाकुर का कहना है कि उन्होंने अपनी बल्लेबाजी में सुधार लाने के लिए अतिरिक्त मेहनत की है। महेंद्र सिंह धोनी ने शार्दुल को ग्रीप नीचे से पकड़ने के लिए कहा था जिससे वह अपने शॉट्स पर नियंत्रण रख सकें। टीम मैनजमेंट ने उन्हें थ्रो डाउन विशेषज्ञ रघु और नुवान के साथ अतिरिक्त अभ्यास कराएं जिससे वह अपनी बल्लेबाजी में सुधार कर सकें।

शार्दुल ने द इंडियन एक्सप्रेस को दिए एक इंटरव्यू में कहा, निचले क्रम के बल्लेबाज का योगदान हमेशा मदद करता है और जब 40-50 रन टीम के लिए बनाते हैं तो वह अंतर लाता है। जब मैंने भारतीय टीम में वापसी की तो मैंने अपने थ्रो-डाउन विशेषज्ञ रघु और नुवान के साथ अभ्यास किया, उनकी गंदें काफी तेज आती जिससे मुझे काफी मदद मिली है।

शार्दुल ने कहा, भारतीय टीम प्रबंधन के लोग मुझ पर भरोसा जताते हैं। कप्तान विराट कोहली को भी मेरे उपर भारोसा है साथ ही रोहित शर्मा भी लगातार मुझे प्रेरित करते रहते हैं। उन सभी ने कहा कि जब भी मैं बल्लेबाजी करता हूं तो मुझे एक बल्लेबाज की तरह सोचना चाहिए। एक बार मैं माही भाई के कमरे में था। उन्होंने मुझसे कहा कि मैं बल्ला बहुत ऊपर से पकड़ता हूं मुझे बैट को थोड़ा नीचे से पकड़ना चाहिए ताकि शॉट पर बेहतर नियंत्रण बन पाए। अब मैं अपना बल्ला वहीं पकड़ता हूं और इससे मुझे मदद मिलती है।

शार्दुल ने कहा कि ब्रिस्बेन में खेले गए पारी के चलते ही उन्होंने टीम प्रबंधन का अतिरिक्त ध्यान आकर्षित किया है।

शार्दुल ने कहा, मुझे पता है कि मैं बल्लेबाजी कर सकता हूं। यह सब इस बात पर निर्भर करता है कि मैं उन 22 गज के बीच कैसे प्रदर्शन करता हूं। मैं उन स्थानों को चुनता हूं जहां मैं स्कोर कर सकता हूं। ब्रिस्बेन में उन रनों के बाद, यह स्पष्ट था जिसका असर ड्रेसिंग रूम पर पड़ा है। उसी समय मेरा आत्मविश्वास बढ़ा है। अब मुझे नेट्स पर नियमित रूप से बल्लेबाजी करने का मौका मिलता है, जिससे पता चलता है कि टीम प्रबंधन का मुझ पर भरोसा है। उन्हें विश्वास है कि जब भी मैं खेलूंगा मैं बल्ले से भी योगदान दूंगा।

ठाकुर ने कहा कि बल्लेबाजी के दौरान चीजों को सरल रखने के इरादे से उनका आत्मविश्वास बढ़ा है।

शार्दुल ने कहा, जब मैं बल्लेबाजी करने के लिए बाहर निकलता हूं तो मैं बहुत ज्यादा नहीं सोचता। मैं बस चीजों को सरल रखता हूं। मेरे स्कूली दिनों से मेरे कोच दिनेश लाड सर मुझसे कहते थे कि हम जितना सोचते हैं, चीजें उतनी ही जटिल होती जाती हैं। तो बस सीधे खेलने की कोशिश करो। पिछले पांच सालों से मैंने अपनी बल्लेबाजी को आसान बनाने की कोशिश की है। कुछ छोटी चीजें हैं जिनका मैं पालन करना चाहता हूं, जैसे कि जब मैं अपना शॉट खेल रहा हूं तो अच्छी स्थिति में रहने की कोशिश करता हूं। मै कोशिश करता हूं कि अधिक सीधे शॉट खेलूं और पारी को आगे बढ़ाउं फिर बाद में मेरे लिए क्रॉस-बैटेड शॉट खेलना आसान हो जाता है।

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