विराट से जीत का जज्बा और धोनी से धैर्य सीखना चाहते हैं क्रुणाल पांड्या
क्रृणाल भारत ए टीम के साथ वेस्टइंडीज के दौरे पर गये हैं जहां उन्होंने अपने हरफनमौला खेल से प्रभावित किया। वेस्टइंडीज ए के खिलाफ उन्होंने तीन एकदिवसीय मैचों में सात विकेट झटके जिसमें पारी में पांच विकेट भी शामिल है।
नई दिल्ली। वेस्टइंडीज दौरे पर जाने वाली भारतीय टी20 टीम के सदस्य हरफनमौला क्रुणाल पंड्या ने कहा कि वह कप्तान विराट कोहली से जीत का जज्बा और विकेटकीपर बल्लेबाज महेन्द्र सिंह धोनी से धैर्य रखना सीखना चाहते हैं। पिछले साल चार नवंबर को वेस्टइंडीज के खिलाफ टी20 अंतरराष्ट्रीय पदार्पण करने वाले क्रुणाल ने अब तक 11 मैचों में 11 विकेट झटकने के साथ पांच पारियों में 23 के औसत से 70 रन भी बनाये है।
कप्तान कोहली के जज्बे से प्रभावित क्रुणाल ने कहा, ‘‘मैं विराट (कोहली) से सीखना चाहूंगा कि लगातार अच्छा करने की भूख कैसे बरकरार रखी जाती है। वह कैसे हर प्रारूप में इतना निरंतर प्रदर्शन करते हैं। हर मैच में वह शून्य से शुरू करते हैं फिर काफी रन बनाते हैं और टीम को जीत दिलाते हैं।’’ महेन्द्र सिंह धोनी के बारे में उन्होंने बीसीसीआई टीवी से कहा, ‘‘माही भाई (धोनी) की तरह का फिनिशर (मैच खत्म करने वाला) भारतीय क्रिकेट के इतिहास में कोई हुआ ही नहीं है, मेरे हिसाब से तो विश्व क्रिकेट में ऐसा कोई नहीं रहा है। उन्होंने लगातार ऐसा कर के दिखाया है। मुझे लगता है उनके पास धैर्य है और परिस्थितियों के मुताबिक खेलने की क्षमता है। मैं माही भाई और विराट (कोहली) से यह दोनों चीज सीखने की कोशिश करूंगा।’’
क्रृणाल भारत ए टीम के साथ वेस्टइंडीज के दौरे पर गये हैं जहां उन्होंने अपने हरफनमौला खेल से प्रभावित किया। वेस्टइंडीज ए के खिलाफ उन्होंने तीन एकदिवसीय मैचों में सात विकेट झटके जिसमें पारी में पांच विकेट भी शामिल है। उन्होंने बल्लेबाजी का हालांकि ज्यादा मौका नहीं मिला लेकिन श्रृंखला के चौथे मैच में उन्होंने 45 रन की पारी खेली।
भारतीय टीम के वेस्टइंडीज दौरे के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा, ‘‘वेस्टइंडीज दौरे के शुरू होने का मैं इंतजार कर रहा हूं क्योंकि आगे बहुत क्रिकेट है। मैं मौका मिलने पर गेंद और बल्ले दोनों से लगातार अच्छा प्रदर्शन करना चाहता हूं।’’
बायें हाथ के इस हरफनमौला ने कहा कि भारतीय टीम के लिए चुने जाने पर भारत ए के लिए खेलने का उनका अनुभव काम आयेगा। उन्होंने कहा, ‘‘ भारत ए टीम के साथ दौरे पर जाने से काफी मदद मिलती है। पिछले दो-तीन वर्षों में मैं दक्षिण अफ्रीका, न्यूजीलैंड, इंग्लैंड तीनों जगह खेल चुका हूं और उसका फायदा भी मिलता है क्योंकि जब आप सीनियर टीम के साथ जाते हैं तो यह अनुभव काम आता है।’’ क्रुणाल क्रिकेट में अपनी पहचान का श्रेय इंडियन प्रीमियर लीग को देते है।
मुंबई इंडियन्स को चैम्पियन बनाने में अहम भूमिका निभाने वाले इस खिलाड़ी ने कहा, ‘‘ मेरे लिए सबसे बड़ा टर्निंग प्वाइंट मुंबई इंडियन्स का प्रतिनिधित्व करना था क्योंकि वहां मैं अपनी क्षमता को दिखा पाया। जब आप आईपीएल में खेलते हैं तो अलग तरह का दबाव होता है लेकिन आप जब कप जीतते है तब काफी संतुष्टि मिलती है।’’ क्रुणाल ने आईपीएल के पिछले सत्र में 16 मैचों में 12 विकेट लेने के साथ 122 के स्ट्राइक रेट से 183 रन बनाये थे।