जन्मदिन विशेष: सौरव गांगुली के नाम दर्ज ये अनोखे रिकॉर्ड बनाते हैं उन्हें शानदार कप्तान और खिलाड़ी
बंगाल टाइगर के नाम से मशहूर सौरव गांगुली ने अपनी आक्रामक कप्तानी के दम पर टीम इंडिया को न केवल अपनी धरती पर बल्कि विदेशी सरजमीं पर भी जीतना सिखाया।
भारतीय क्रिकेट के इतिहास में कई कप्तान हुए हैं जिन्होंने टीम इंडिया के विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। लेकिन बंगाल टाइगर के नाम से मशहूर सौरव गांगुली वो कप्तान थे जिन्होंने अपनी आक्रामक कप्तानी के दम पर टीम इंडिया को न केवल अपनी धरती पर बल्कि विदेशी सरजमीं पर भी जीतना सिखाया। सौरव गांगुली आज यानी 8 जुलाई को अपना 47वां जन्मदिन मना रहे हैं। गांगुली के जन्मदिन के खास मौके पर आइए जानते हैं उनसे जुड़े कुछ दिलचस्प रिकॉर्ड के बारे में......
1. सौरव गांगुली ने इंटरनेशनल क्रिकेट में अपना डेब्यू 11 जनवरी 1992 को महज 19 साल की उम्र में वेस्टइंडीज के खिलाफ वनडे मैच से किया था। हालांकि इस मैच के बाद गांगुली को दोबारा टीम इंडिया में आने के लिए 4 साल का लंबा इंतजार करना पड़ा।
2. गांगुली ने जून 1996 में इंग्लैंड के खिलाफ क्रिकेट के मक्का लॉर्ड्स में टेस्ट डेब्यू किया जिसमें उन्होंने शानदार शतक लगाते हुए 131 रन बनाए। दूसरे मैच में भी उन्होंने शतक जड़ा और अपनी डेब्यू सीरीज़ में मैन ऑफ़ द सीरीज़ का पुरस्कार अपने नाम किया।
3. वनडे क्रिकेट में सबसे ज्यादा रन बनाने के मामलें में गांगुली 8वें स्थान पर है। उन्होंने 311 वनडे मैचों में 41.02 की औसत से 11363 रन बनाए, जिनमें 22 शतक और 72 अर्धशतक शामिल हैं।
4. सौरव गांगुली ने 1999 के वर्ल्ड कप में श्रीलंका के खिलाफ 183 रन की धमाकेदार पारी खेली थी जिसमें 7 गगनचुंबी छक्के शामिल थे। ये उनके वनडे करियर की सर्वश्रेष्ठ पारी है। यही नहीं वर्ल्ड कप में किसी भी भारतीय खिलाड़ी का ये सर्वश्रेष्ठ निजी स्कोर है।
5. दादा के नाम वनडे क्रिकेट में लगातार सबसे ज्यादा ‘मैन ऑफ द मैच’ जीतने का वर्ल्ड रिकॉर्ड है। उन्होंने 1997 में पाकिस्तान के खिलाफ 4 मैचों में मैन ऑफ द मैच जीतकर ये रिकॉर्ड अपने नाम किया था।
6. वनडे में सबसे ज्यादा मैन ऑफ द मैच अवॉर्ड जीतने वाले सौरव गांगुली तीसरे भारतीय है। उनसे ज्यादा सचिन तेंदुलकर (61) और विराट कोहली (33) ये कारनामा किया है। गांगुली ने 31 बार मैन ऑफ द मैच अवॉर्ड अपने नाम किया था।
7. गांगुली ने अपने करियर में 113 टेस्ट मैचों में 42.14 की औसत से 7213 रन बनाए, जिनमें 16 शतक और 35 अर्धशतक शामिल हैं। सौरव गांगुली की कप्तानी में भारतीय टीम ने विदेशी धरती पर 28 में से 11 टेस्ट में जीत दर्ज की थी। इस मामले में वह विराट कोहली के बाद दूसरे नंबर पर हैं।
8. गांगुली ने 5 साल तक टीम इंडिया की कप्तानी की। साल 2000 से 2005 के बीच गांगुली की कप्तानी में भारत ने 49 टेस्ट मैचों मे से 21 में जीत हासिल की जबकि 13 में हार का सामना करना पड़ा। 15 मैच ड्रॉ रहे।
9. गांगुली की कप्तानी में टीम इंडिया ने 20 साल बाद 2003 के वर्ल्ड कप के फाइनल में जगह बनाई थी। हालांकि उसे फाइनल में ऑस्ट्रेलिया के हाथों शिकस्त झेलनी पड़ी।
10. गांगुली की कप्तानी में ही टीम इंडिया ने 2002 में खेली गई नेटवेस्ट सीरीज के फाइनल में मेजबान इंग्लैंड के खिलाफ 326 रनों का लक्ष्य हासिल किया था। ये उस समय वनडे क्रिकेट का दूसरा सर्वश्रेष्ठ रन चेज का रिकॉर्ड था। फाइनल जीतने के बाद सौरव गांगुली ने लार्ड्स की बालकनी में अपनी कमीज उतारकर लहराई थी जो भारतीय क्रिकेट के ऐतिहासिक पलों में से एक है।