कोविड-19 को लेकर बीसीसीआई करेगा कार्यबल का गठन, राहुल द्रविड़ उसमें होंगे शामिल
एसओपी के अनुसार खिलाड़ियों को अपने-अपने केंद्रों पर प्रशिक्षण शुरू करने से पहले एक सहमति फॉर्म पर हस्ताक्षर करना होगा।
नई दिल्ली। भारतीय क्रिकेट बोर्ड (बीसीसीआई) कोविड-19 को लेकर एक कार्यबल का गठन करेगा जिसमें पूर्व कप्तान एवं राष्ट्रीय क्रिकेट अकादमी के प्रमुख राहुल द्रविड़ शामिल होंगे। बीसीसीआई ने राज्यों को भेजी मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) में राज्य संघों को इसकी जानकारी दी। एसओपी के अनुसार खिलाड़ियों को अपने-अपने केंद्रों पर प्रशिक्षण शुरू करने से पहले एक सहमति फॉर्म पर हस्ताक्षर करना होगा। इसमें 60 वर्ष से अधिक उम्र या स्वास्थ संबंधी परेशानी का सामना कर रहे किसी व्यक्ति के शिविर में भाग लेने पर रोक है।
बेंगलुरू एनसीए में प्रशिक्षण बहाली के लिए, कोवड-19 कार्यबल में द्रविड़, एक चिकित्सा अधिकारी, एक स्वच्छता अधिकारी के अलावा बीसीसीआई एजीएम, क्रिकेट संचालन शामिल होंगे। उनकी जिम्मेदारियों में ‘स्पष्ट और नियमित रूप से खिलाड़ियों के साथ संवाद करना, जोखिम को प्रबंधित करने के लिए किए जा रहे उपाय का उल्लेख करने के साथ कोविड-19 से जुड़े मामलों के बारे में जानकारी’ देना शामिल है। खिलाड़ियों और राज्यों के केन्द्र की तरह एनसीए में भी क्रिकेटरों को प्रशिक्षण शुरू करने से पहले एक सहमति पत्र पर हस्ताक्षर करना होगा।
एसओपी के मुताबिक, ‘‘प्रशिक्षण की बहाली से पहले कोविड-19 संक्रमण की संभावना का पता लगाने के लिए एनसीए के प्रशासनिक कर्मचारियों सहित सभी खिलाड़ियों और कर्मचारियों का कोविड-19 (आरटी-पीसीआर) परीक्षण किया जाएगा।"
एसओपी के मुताबिक,‘‘राष्ट्रीय क्रिकेट अकादमी के शुरू होने से पहले, खिलाड़ी इस एसओपी में निर्धारित सभी प्रोटोकॉल का पालन करने और कोविड-19 रोकथाम के संदर्भ में समय-समय पर जारी किए गए विभिन्न सरकारी आदेशों का पालन करने के लिए लिखित में सहमति देना होगा।"
क्रिकेट को फिर से शुरू करने पर बीसीसीआई द्वारा जारी किये गये दिशानिर्देश की प्रति पीटीआई-भाषा के पास भी है।
इसके मुताबिक,‘‘खिलाड़ियों, कर्मचारियों और हितधारकों की स्वास्थ्य और सुरक्षा संबंधित चीजों की जिम्मेदार राज्य क्रिकेट संघों की होगी।’’
ऐसे सहायक कर्मचारी, अधिकारी जिनकी उम्र 60 साल से अधिक है या जो बीमार है, मैदान पर आने और प्रशिक्षिण शिविर में भाग लेने पर तब तक रोक होगी जब तब कि ‘सरकार द्वारा उपयुक्त दिशानिर्देश जारी नहीं किए जाते’। स्टेडियम में यात्रा से लेकर वहां प्रशिक्षण तक खिलाड़ियों को सख्त सुरक्षा प्रोटोकॉल का पालन करना होगा।