B'Day Special : 31 साल के विराट ने 15 साल के कोहली के लिए लिखा दिल छू देने वाले ये खास लेटर
इस मौके पर उन्होंने अपने आप को बधाई देते हुए एक लेटर लिखा है जो कई मायनों में खास है। दरअसल, 31 साल के विराट कोहली ने ये लेटर 15 साल के विराट कोहली के लिए लिखा है।
आमूमन आपने देखा होगा कि आपके जन्मदिन पर दूसरे आपको बधाई देते हैं, लेकिन क्या आपने कभी खुद को जन्मदिन की बधाई दी है? शायद नहीं, लेकिन विराट कोहली ने आज ऐसा किया है। भारतीय कप्तान विराट कोहली आज अपना 31वां जन्मदिन मना रहे हैं। इस मौके पर उन्होंने अपने आप को बधाई देते हुए एक लेटर लिखा है जो कई मायनों में खास है। दरअसल, 31 साल के विराट कोहली ने ये लेटर 15 साल के विराट कोहली के लिए लिखा है।
विराट कोहली ने इस लेटर में लिखा 'हैलो चीकू, सबसे पहले तो जन्मदिन की बहुत-बहुत शुभकमनाएँ। मुझे पता है कि तुम्हारे पास अपने भविष्य को लेकर बहुत सारे सवाल होंगे, जिनके जवाब तुम मुझसे जानना चाहोगे। मई माफ़ी चाहता हूँ क्योंकि मैं उनमें से अधिकतर का जवाब नहीं दूँगा। ऐसा इसीलिए, क्योंकि भविष्य में आपके लिए क्या रखा हुआ है, इसकी जानकारी न होना किसी भी सरप्राइज को सुहाना बना देता है। ये सभी चुनौतियों को रोमांचकारी बना देता है और मायूसी को एक आइए मौके में बदल देता है, जिससे आपको कुछ सीख मिलती है। भले ही युम्हेँ आज ये बात पता न चले लेकिन लक्ष्य से ज्यादा महत्त्व होता है लक्ष्य तक पहुँचने वाली यात्रा का।'
उन्होंने आगे लिखा 'विराट, मैं तुम्हें बताना चाहता हूँ कि ज़िंदगी में आगे तुम्हारे लिए काफ़ी कुछ रखा हुआ है। लेकिन हाँ, तुम्हें तुम्हारे रास्ते में आने वाले हर एक मौके के लिए ख़ुद को तैयार रखना पड़ेगा। जब भी ये मौके आएँ, इन्हें लपकने में देर मत करना। ये बात भी याद रखना कि तुम्हारे पास पहले से जो चीजें हैं, ऐसा मत समझना कि वो हमेशा के लिए यूँ ही रहेंगी। किसी भी चीज को ग्रांटेड मत लेना। तुम्हें असफलताएँ हाथ लग सकती हैं। सभी को अपने जीवन में असफलताओं का सामना करना पड़ता है।'
विराट ने आगे लिखते हुए लिखा तुम बस अपने आप से वादा करो कि तुम कभी भी आगे बढ़ना नहीं छोड़ोगे। अगर असफलता मिलती है तो फिर से प्रयास करोगे। तुम्हें काफ़ी ऐसे लोग मिलेंगे, जो तुमसे प्यार करेंगे। बहुत से ऐसे लोग भी मिलेंगे, जो तुम्हें नापसंद करेंगे। इनमें ऐसे लोग भी शामिल होंगे, जो तुम्हें जानते तक नहीं हैं। उनके बारे में सोचने की ज़रूरत नहीं है। बस ख़ुद पर विश्वास रखो। मुझे पता है कि पापा ने जो जूते तुम्हें उपहार स्वरूप दिए हैं, वो तुम्हारे पाँव में नहीं आ रहे, तुम उसी पर सोच रहे हो।
लेकिन यह जान लो कि उनका महत्व सुबह-सुबह तुमसे गले लगने और तुम्हारी लम्बाई पर हँसी-हँसी में बात करने के सामने कुछ भी नहीं। इन्हें संजो कर रखो, इन्हें याद रखना। मुझे पता है कि वो कभी-कभी तुम्हें सख्त लगेंगे, लेकिन यह बस इसलिए हैं क्योंकि वो तुम्हें सबसे बेहतर होते देखना चाहते हैं। तुम्हें ये भी लगता होगा कि मम्मी-पापा तो हमें समझते ही नहीं, लेकिन याद रखना एक परिवार ही है जो हर स्थिति में हमारे साथ खड़ा रहता है, बिना किसी शर्त के। उन्हें भी प्यार करो, उनका सम्मान करो और जब तक उनके साथ हो, समय बिताओ उनके साथ। पापा को कहो कि तुम उनसे कितना प्रेम करते हो- बहुत ज़्यादा! उन्हें यह बात आज कहो, कल दोबारा कहो, हर बार कहो जब भी मौका मिले।
और अंत में, अपने दिल की सुनो, अपने सपनों का पीछा करो, स्वयं में करुणा का भाव जगाओ और दुनिया को दिखा दो कि बड़े सपने देखना ही हमें बेहतरीन बनाता है, बाकियों से अलग करता है। जो हो, वैसे बने रहो, अपने मूल रूप में।
और हाँ, ये पराठे तो खूब खाओ, स्वाद ले कर खाओ भाई! आने वाले दिनों में ये कितनी बड़ी बात बन जाएगी तुम्हें अंदाजा नहीं है।
हर दिन को बेहतरीन बनाओ