A
Hindi News धर्म ज्येष्ठा नक्षत्र में जन्मे लोग होते हैं समय के बेहद पाबंद, अपनी इन ख़ास खूबियों से जीत लेते हैं हर किसी का दिल

ज्येष्ठा नक्षत्र में जन्मे लोग होते हैं समय के बेहद पाबंद, अपनी इन ख़ास खूबियों से जीत लेते हैं हर किसी का दिल

ज्येष्ठा का अर्थ होता है- बड़ा. इसके नाम पर ही हिन्दी मास ज्येष्ठ पड़ा है। साथ ही तावीज़ को ज्येष्ठा नक्षत्र का प्रतीक चिन्ह माना जाता है। इस नक्षत्र में जन्म लेने वाले व्यक्ति की इच्छा शक्ति बहुत प्रबल होती है।

astro tips of Jyestha Nakshatra born people - India TV Hindi Image Source : FREEPIK astro tips of Jyestha Nakshatra born people

आकाशमंडल में स्थित कुल 27 नक्षत्र नौ-नौ की संख्याओं में तीन श्रृंखला में बंटे हुए हैं, जिसमें से पहली श्रृंखला की शुरुआत अश्विनी नक्षत्र से होती है, जबकि नौ नक्षत्रों की दूसरी श्रृंखला का अंत ज्येष्ठा नक्षत्र पर होता है। आकाशमंडल में गिनती के आधार पर ज्येष्ठा नक्षत्र 18वां नक्षत्र है। ज्येष्ठा का अर्थ होता है- बड़ा। इसके नाम पर ही हिन्दी मास ज्येष्ठ पड़ा है। तीन तारों से बनी आकृति को दैवीय शक्ति का रक्षा कवच माना जाता है। साथ ही तावीज़ को ज्येष्ठा नक्षत्र का प्रतीक चिन्ह माना जाता है।  कुछ विद्वानों ने इसे आदिशक्ति या मां दुर्गा के कान का झुमका माना है। कुल मिलाकर ज्येष्ठा नक्षत्र जगत में व्याप्त शक्तियों के नियंत्रण का प्रतीक है। अतः ज्येष्ठा नक्षत्र के प्रतीक चिन्ह को रक्षा, सुरक्षा और प्रभुत्व के साथ भी जोड़कर देखा जाता है। इसके अलावा ज्येष्ठा नक्षत्र के स्वामी बुध हैं और बुध के नक्षत्रों में बुध के साथ-साथ मां दुर्गा के निमित्त उपाय करना भी बेहद शुभ फलदायी होता है।

होते हैं बेहद गुनी

इस नक्षत्र में जन्म लेने वाले व्यक्ति के अंदर सबसे खास बात यह होती है कि इनकी इच्छा शक्ति बहुत प्रबल होती है। यह लोग जीवन में बहुत कुछ करना चाहते हैं और उसके लिए प्रयास भी करते हैं। यह लोग ऑफिस हो या समाज हर जगह पर अपनी छवि को बनाकर रखते हैं। यह ऐसा कोई कार्य नहीं करते हैं जिससे कि इनकी बात में हल्कापन हो जाए।

चीड़ के पेड़ की पूजा करें 

बुध, बुद्धि का कारक होने के साथ ही वाणी से भी संबंध रखते हैं। वनस्पतियों में ज्येष्ठा नक्षत्र का सम्बन्ध चीड़ के पेड़ से है और जिस नक्षत्र का जो पेड़ होता है, उस नक्षत्र से संबंधित व्यक्ति को उस पेड़ की पूजा करनी चाहिए। लिहाजा जिन लोगों का जन्म ज्येष्ठा नक्षत्र में हुआ है उन लोगों को आज ज्येष्ठा नक्षत्र के दौरान चीड़ के पेड़ की पूजा करनी चाहिए और उसके सामने हाथ जोड़कर नमस्कार करना चाहिए। इससे आपको शुभ फलों की प्राप्ति होगी |

(आचार्य इंदु प्रकाश देश के जाने-माने ज्योतिषी हैं, जिन्हें वास्तु, सामुद्रिक शास्त्र और ज्योतिष शास्त्र का लंबा अनुभव है। इंडिया टीवी पर आप इन्हें हर सुबह 7।30 बजे भविष्यवाणी में देखते हैं)

ये भी पढ़ें-

Sheetala Ashtami 2023: 14 या 15 मार्च कब है शीतला अष्टमी व्रत? जानिए सही डेट, मुहूर्त और महत्व

इस विधि के साथ करें शीतला अष्टमी की पूजा, व्रत करने वालों को मिलता है निरोग होने का आशीर्वाद

चैत्र अमावस्या के दिन आत्माएं बनाती हैं लोगों के शरीर को निशाना! नकरात्मक शक्तियों से बचने के लिए करना होगा ये उपाय