Mangalsutra Astrology: हिंदू धर्म में मंगलसूत्र का बहुत महत्व है, शादी के समय वर अपने वधू के गले में ये मंगलसूत्र पहनाता है और फिर जब तक वो जीवित रहता है पत्नी उसके नाम का मंगलसूत्र अपने गले में डालती है। क्या आप जानते हैं कि मंगलसूत्र का संबंध भगवान शिव और माता पार्वती से है।
मंगलसूत्र के मोती का है शिवजी से संबंध
मंगलसूत्र में काले मोती होना अनिवार्य है, बिना काले मोती के मंगलसूत्र पूर्ण नहीं माना जाता है। काले मोती को भगवान शिव का रूप माना जाता है, वहीं सोने का संबंध माता पार्वती से है। जब मंगलसूत्र में सोना और काले मोती मिलते हैं तो शिव और पार्वती दोनों का आशीर्वाद पति-पत्नी को मिलता है। ये शिव पार्वती के बंधन का प्रतीक है जो आपके रिश्ते को भी मजबूत करता है।
बुरी नजर से बचाता है मंगलसूत्र
मंगलसूत्र के काले मोती पति-पत्नी दोनों को बुरी नजर से बचाता है। मंगलसूत्र में 9 मनके होते हैं ये मां दुर्गा के विभिन्न रूपों का प्रतिनिधित्व करते हैं। ये मनके पृथ्वी, जल, वायु और अग्नि तत्वों का भी प्रतीक है।
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मंगलसूत्र में काले मोती जरूर होने चाहिए
मंगलसूत्र में काले मोती होना अनिवार्य है, बिना इसके मंगलसूत्र पूरा नहीं माना जाता है। काले मोती पति को बुरी नजर से बचाते हैं और उनकी उम्र लंबी करते हैं।
क्यों पहनना चाहिए मंगलसूत्र?
सुहागिन स्त्रियों को मंगलसूत्र अवश्य पहनना चाहिए, अगर मंगलसूत्र नहीं पहना है तो गले में कोई जंजीर भी डाल सकते हैं, लेकिन गला खाली रखना अशुभ माना जाता है।
भूलकर भी न पहनें दूसरी स्त्री का मंगलसूत्र
न ही कभी दूसरी स्त्री का मंगलसूत्र पहनना चाहिए, न ही अपना मंगलसूत्र कभी दूसरी स्त्री को पहनने को देना चाहिए। ऐसा करने से पति-पत्नी के रिश्ते में कलह होती है और जीवन में तनाव होता है।
बृहस्पति होता है मजबूत
मंगलसूत्र में जो सोना होता है उससे बृहस्पति ग्रह मजबूत होता है। जब बृहस्पति मजबूत हो तो पति-पत्नी के बीच मधुरता होती है और पति की आय में भी वृद्धि होती है।
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है। INDIA TV इसकी पुष्टि नहीं करता है।)
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