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राजस्थान सरकार ने कोर्ट में हलफनामा देकर सचिन पायलट और अन्य लोगों से हटाई राजद्रोह की धारा

राजस्थान सरकार ने हाईकोर्ट मे हलफनामा देकर सचिन पायलट और बाकी लोगों पर से राजद्रोह की धारा (124 A) को हटा दिया है।

Sachin Pilot, Sachin Pilot Sedition Charge, Sedition Charge, Sachin Pilot Sedition SOG- India TV Hindi Image Source : PTI FILE राजस्थान सरकार ने हाईकोर्ट मे हलफनामा देकर सचिन पायलट और बाकी लोगों पर से राजद्रोह की धारा (124 A) को हटा दिया है।

जयपुर: राजस्थान सरकार ने हाईकोर्ट मे हलफनामा देकर सचिन पायलट और बाकी लोगों पर से राजद्रोह की धारा (124 A) को हटा दिया है। राजस्थान एसओजी ने मंगलवार को हाईकोर्ट में राजद्रोह की धारा हटाने के हलफनामा दिया था। बता दें कि अब एसओजी की ओर से दर्ज की गई FIR में उसने खुद इस मामले में राजद्रोह की धारा हटाकर केस को एंटी करप्शन ब्यूरों को सौंप दिया है। राजनीति के जानकार इसे पायलट खेमे की बड़ी राजनैतिक जीत के तौर पर देख रहे हैं।

गौरतलब है कि सचिन पायलट और उनके गुट के विधायकों को एसओजी ने राजद्रोह की धारा के तहत ही नोटिस दिया था। इसी बात पर सचिन पायलट ने कड़ी नाराजगी जताई थी। लेकिन अब एसओजी द्वारा राजद्रोह की धारा हटाने और मामला एंटी करप्शन ब्यूरो को सौंपने के बाद ऐसा माना जा रहा है कि पायलट की नाराजगी कम हो सकती है। वहीं, हाईकोर्ट ने विधानसभा का सत्र न बुलाने पर राज्यपाल को पद से हटाने की याचिका मंगलवार को खारिज कर दी। बता दें कि राज्यपाल 14 अगस्त से सत्र की मंजूरी दे चुके हैं। ऐसे में कोर्ट ने वकील शांतनु पारीक की अर्जी को तथ्यहीन बताकर खारिज कर दिया।

कहा जा रहा है कि सचिन पायलट गुट के कुछ विधायकों ने कांग्रेस आलाकमान को संदेश भेजा है कि वे पार्टी से बाहर नहीं जाना चाहते, लेकिन प्रदेश में मुख्यमंत्री का चेहरा बदलना चाहिए, लेकिन राजस्थान कांग्रेस के प्रभारी अविनाश पांडे ने ऐसे किसी संदेश की बात से इनकार किया है। वहीं, SOG की FIR से राजद्रोह की धारा हटाने के बाद उपनेता प्रतिपक्ष राजेन्द्र राठौड़ ने कहा कि क्योंकि इस मामले की जांच को अब मनमोहन सिंह सरकार के समय में बनाई गई उच्च स्तरीय जांच एजेंसी एनआईए को सौंपा जाने के कयास लग रहे हैं। ऐसे में एनआईए की ओर से मामले की निष्पक्ष जांच होने पर सरकार की किरकिरी के डर से एसओजी ने राजद्रोह का केस वापस लिया है।