जयपुर के अशोक नगर थाना क्षेत्र में स्थित सरकारी वकील के कार्यालय में एक संविदाकर्मी का शव फंदे से लटका मिला। पुलिस ने यह जानकारी दी। सहायक पुलिस आयुक्त (अशोक नगर) बालाराम ने बताया कि 34 वर्षीय संविदाकर्मी मनीष सैनी का शव वकील कार्यालय में फंदे से लटका मिला। वह बांदीकुई का रहने वाला था। सैनी के शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है।
मृतक के परिजनों ने किया विरोध प्रदर्शन
घटना के बाद मृतक के परिजनों ने परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी और मुआवजा देने की मांग को लेकर कार्यालय के बाहर धरना प्रदर्शन किया। इस बीच पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि राज्य सरकार को पीड़ित परिजनों की आर्थिक सहायता सुनिश्चित करनी चाहिए।
पूर्व सीएम ने जताया दुख
पूर्व सीएम गहलोत ने सोशल मीडिया प्लेटफार्म एक्स पर लिखा, 'शुक्रवार को राजस्थान हाई कोर्ट में संविदा कर्मचारी मनीष सैनी द्वारा आत्महत्या किया जाना बेहद दुखद है। मैं ईश्वर से दिवंगत आत्मा की शांति एवं परिजनों को हिम्मत देने की प्रार्थना करता हूं।'
पीड़ित परिजनों की आर्थिक सहायता सुनिश्चित की जाए
इसके साथ ही पूर्व सीएम ने कहा, 'मनीष एक अल्प वेतन भोगी संविदा कर्मी थे। राज्य सरकार को पीड़ित परिजनों की आर्थिक सहायता सुनिश्चित करनी चाहिए।' गहलोत ने कहा, 'हमारी सरकार के समय करीब 1 लाख 10 हजार संविदाकर्मियों के भविष्य की सुरक्षा के लिए कॉन्ट्रेक्चुल सर्विस रूल्स बनाए थे एवं स्क्रीनिंग की प्रक्रिया शुरू की थी।’
संविदाकर्मियों को दिया जाए उचित वेतन- पूर्व सीएम
अशोक गहलोत ने कहा कि वर्तमान सरकार को अविलंब उक्त प्रक्रिया को आगे बढ़ाकर सभी संविदाकर्मियों का नियमितीकरण कर उचित वेतनमान देना चाहिए। वहीं, इस पूरे मामले पर अभी बीजेपी की ओर से कुछ बयान नहीं आया है।
भाषा के इनपुट के साथ