जयपुर। राजस्थान में मंत्रियों के विभागों को बटवारा अंतत: हो गया है। बुधवार को देर रात राज्यपाल कल्याण सिंह ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की सिफारिश पर मंत्रियों के विभागों की घोषणा कर दी है। मंत्रालयों को बांटने में एक बार फिर से मुख्यमंत्री अशोक गहलोत उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट पर भारी पड़ते दिखे हैं। वित्त और गृह सहित 9 विभाग मुख्यमंत्री ने स्वयं अपने पास रखे हैं। इसके साथ ही गहलोत के पास एक्साइज, योजना, कार्मिक, सामान्य प्रशासन, आईटी विभाग भी होंगे।
उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट के हाथ 5 विभाग आए हैं, जिसमें पीडब्ल्यूडी, ग्रामीण विकास, पंचायती राज, साइंस एवं टेक्नोलॉजी तथा सांख्यकी विभाग शमिल हैं। मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री के अलावा 13 केबिनेट और 10 राज्य मंत्रियों को भी पोर्टफोलियो बांटा गया है। राज्य में सोमवार को केबिनेट विस्तार हुआ था।
राहुल से चर्चा के बाद दिल्ली में लगी मुहर
मुख्यमंत्री के पद का नाम तय होने के बाद राज्य में सबसे बड़ी पेजीदगी मंत्रियों के पोर्टफोलियो के निर्धारण की थी। यह फैसला भी दिल्ली में हुए। बुधवार को दिल्ली में राहुल गांधी और अशोक गहलोत के बीच हुई चर्चा के बाद पोर्टफोलियो पर निर्णय लिया गया। सूत्रों के मुताबिक गहलोत और पायलट के बीच विभागों को लेकर विवाद के चलते सोमवार से लेकर बुधवार तक विभागों पर निर्णय नहीं हो सका था।
इन मंत्रियों को मिले ये विभाग
- बीडी कल्ला - ऊर्जा, लोक स्वास्थ्य इंजीनियरिंग, भूमिगत जल, कला, संस्कृति और आर्कियोलॉजी
- शांति धारीवाल- शहरी विकास एवं हाउसिंग, विधि एवं संसदीय कार्य मंत्रालय
- परसादी लाल - उद्योग
- भंवर लाल मेघवाल - सामाजिक न्याय एवं सशक्तिकरण
- लाल चंद कटारिया - कृषि, पशुपालन, मत्स्य पालन
- रघु शर्मा- स्वास्थ्य, सूचना एवं जनसंचार विभाग
- प्रमोद भाया - खनन विभाग
- विश्वेंद्र सिंह - पर्यटन और देवस्थान विभाग
- हरीश चौधरी - राजस्व
- रमेश चंद्र मीणा- खाद्य एवं आपूर्ति
- अंजना उडइलाल- सहकारिता, इंदिरा गांधी नहर परियोजना
- प्रताप सिंह- परिवहन, सैनिक कल्याण
- शाले मुहम्मद - अल्पसंख्यक एवं वक्फ