क्रिकेट से भी ऐसे सीख सकते हैं निवेश की स्ट्रैटेजी, बन सकते हैं चैम्पियन इन्वेस्टर
एक निवेशक को अपने निवेश का फैसला पूरी तरह से किसी कंपनी के स्टॉक के पिछले प्रदर्शन के आधार पर नहीं लेना चाहिए। एक निवेश को शेयर बाजार और निवेश को प्रभावित करने वाले कई कारकों पर विचार करना चाहिए।
कोई भी इंसान चाहे वह क्रिकेट (Cricket) खेलता हो या मार्केट में पैसा निवेश (Investment) करता हो, एक सही स्ट्रैटेजी और शानदार सलेक्शन के दम पर ही सफलता हासिल कर सकता है। इन दिनों क्रिकेट वर्ल्ड कप जारी है। इधर निवेशक भी गिरते शेयर बाजार में खुद को संभालने की कोशिश में लगे हैं। एक निवेशक (share market investor) क्रिकेट के मैदान से भी कई तरह की सीख (Cricket vs Investment) लेकर अपने निवेश के ग्राउंड पर शानदार खेल के दम पर चैम्पियन इन्वेस्टर बन सकता है। आइए, हम यहां क्रिकेट से निवेश को जोड़ते हुए कई रोचक बातें जान लेते हैं, ताकि आपको बेहतर रिटर्न मिल सके।
ग्राउंड पर रहें शांत
आपने क्रिक्रेट ग्राउंड में सुना होगा कैप्टन कूल जैसा कोई नहीं। यह महेन्द्र सिंह धोनी के लिए इस्तेमाल होता है। जैसे एमएस धोनी पिच पर अपना धैर्य बनाए रखते हैं, वैसे ही एक निवेशक को निवेश करते समय धैर्य बनाए रखने की जरूरत है। निवेश करते समय गलत फैसले से गलत परिणाम हो सकते हैं। यह सीधे तौर पर आपके पोर्टफोलियो के परफॉर्मेंस में अड़चन डाल सकता है। बाजार की स्थितियों का ठीक से विश्लेषण करें और फिर कोई कदम उठाएं।
पिच का अध्ययन करन है जरूरी
आप देखते आए हैं कि मैच से पहले एक क्रिकेट खिलाड़ी सबसे पहले पिच की जांच करता है। फिर, वह पिच की स्थितियों के आधार पर संभावित नतीजों का विश्लेषण करता है और अनुमान लगाता है।
इसी तरह, किसी निवेशक को किसी खास कंपनी के स्टॉक में निवेश करने से पहले वर्तमान और संभावित बाजार स्थितियों की पूरी तरह से समीक्षा करनी चाहिए।
सर्वश्रेष्ठ प्लेयर का मैदान में हमेशा होना जरूरी
क्रिकेट टीम में एक बेस्ट परफॉर्मेंस देने वाला खिलाड़ी अक्सर टीम में होता है। इसी तरह, एक निवेशक के तौर पर आपको उन निवेशों को आसानी से नहीं छोड़ना चाहिए जिन्होंने कम या औसत रिटर्न दिया है। आप उन्हें बनाए रखने पर विचार कर सकते हैं, उन्हें ग्रोथ के लिए कुछ समय दे सकते हैं, और बदले में आपको निश्चित रूप से कुछ अच्छे नतीजे मिलेंगे।
फ्रेशर्स को मौका दें
आईपीएल में उभरते हुए युवा खिलाड़ियों को कई बार राष्ट्रीय टीमों का प्रतिनिधित्व करने का अवसर मिलता है। आज के समय में चाहे वह शुभमन गिल हों, सूर्यकुमार यादव हों, वेंकटेश अय्यर हों, ईशान किशन हों, दीपक चाहर हों और रिंकू सिंह हों, आप देश सकते हैं कि आज ये कहां हैं। इसी तरह, निवेश करते समय आप उन उभरते इंडस्ट्री में निवेश करने पर विचार कर सकते हैं जिनमें आने वाले सालों में फलने-फूलने की क्षमता है।
एक संतुलित और हरफनमौला टीम है जरूरी
क्रिकेट टीम बल्लेबाजों, तेज गेंदबाजों और स्पिनरों का एक संतुलित मिक्सचर होती है, उसी तरह निवेश पोर्टफोलियो भी संतुलित होना चाहिए। अलग-अलग तरह के निवेश ऑप्शन के सही सेट में पर्याप्त रिटर्न जेनरेट करने की क्षमता होती है। ऐसे में बाजार की स्थितियों और निवेश के आधार पर अपनी संपत्ति में विविधता लाना जरूरी है।
सिर्फ पिछले प्रदर्शन पर पूरी तरह न करें भरोसा
एक क्रिकेट टीम का सलेक्शन खिलाड़ी के मौजूदा और पिछले फॉर्म और प्रदर्शन के आधार पर किया जाता है। हालांकि, वे पूरी तरह से पिछले प्रदर्शन पर निर्भर नहीं हैं। Groww के मुताबिक, इसी तरह, एक निवेशक को अपने निवेश का फैसला पूरी तरह से किसी कंपनी के स्टॉक के पिछले प्रदर्शन के आधार पर नहीं लेना चाहिए। इसके बजाय, उसे कंपनी का मूल्यांकन करना सुनिश्चित करना चाहिए। कंपनी की संभावनाओं और उनकी जोखिम उठाने की क्षमता की जांच करनी चाहिए। तभी निवेश पर फैसला करना चाहिए।
स्ट्रैटेजी टाइम का अधिकतम सदुपयोग करें
आईपीएल की एक पारी में, आपने टीमों को आईपीएल स्ट्रैटेजिक टाइम आउट का बेनिफिट उठाते हुए देखा होगा। हालांकि क्रिकेट में, उन्हें अपने अगले कदम की योजना बनाने के लिए केवल ढाई मिनट मिलते हैं, लेकिन निवेश में ऐसी कोई रोक नहीं है। यह वजह है कि एक निवेशक को अक्सर अपने पोर्टफोलियो की समीक्षा करने और जरूरी जोड़-घटाव करने के लिए कुछ समय निकालना चाहिए। नियमित समीक्षा से पोर्टफोलियो संतुलित होता है और नुकसान से बचने में मदद मिलती है।
खिलाड़ियों को शोर से बचना चाहिए
एक क्रिकेट मैच भीड़ के उत्साह और तालियों के बिना अधूरा है। कभी-कभी, यह बहुत उग्र और उपद्रवी हो जाता है, जिससे खिलाड़ियों का ध्यान भटक जाता है। इससे बचने के लिए, अलग-अलग खिलाड़ी अपनी अलग-अलग स्ट्रैटेजी अपनाते हैं ताकि शोर उनके खेल में बाधा न डाले। ऐसे ही एक निवेशक (share market investor) को बाजार के शोर से बचना चाहिए और अपनी प्लानिंग पर फोकस करना चाहिए। ध्यान भटकाने से उनकी पसंद में बाधा आ सकती है, जिससे गलत चयन और कम रिटर्न मिल सकता है।
मैच से पहले बाहरी स्थितियों की समीक्षा
जब कभी क्रिकेट मैच होता है तो बारिश, नमी, समतल पिच और कई दूसरे फैक्टर से परेशानी होने की भी संभावना होती है। एक कप्तान खेल की रणनीति की योजना बनाते समय और टॉस जीतने के बाद अपनी पसंद का चयन करते समय हमेशा इन बातों पर विचार करता है। इसी तरह, एक निवेश को शेयर बाजार और निवेश को प्रभावित करने वाले कई कारकों पर विचार करना चाहिए। ऐसे कारकों की पहले से समीक्षा करना घाटे को कम करने के लिए एक उपयोगी फैसला हो सकता है।
एक अच्छा कोच मिलना है जरूरी
दुनिया के बेस्ट क्रिकेट कोच का नाम लेना हो, तो गैरी कर्स्टन, एंडी फ्लावर, डंकन फ्लेचर और जॉन राइट का नाम जरूर आता है। अपनी क्षमता के दम पर इन्होंने अपनी टीमों को कई ट्रॉफियां और प्रशंसाएं दिलाई हैं। एक निवेशक भी, एक योग्य प्रोफेशनल से मदद ले सकता है जो शेयर बाजार (share market investor) और निवेश क्षेत्र के बारे में अच्छी जानकारी रखता हो। यह प्रोफेशनल जोखिम का आकलन करने में आपकी सहायता कर सकते हैं और गलतियों को सुधारने में आपकी सहायता कर सकते हैं ।