नई दिल्ली। पिछले साल (2016) जुलाई-दिसंबर के दौरान देश के 8 बड़े शहरों में घरों की बिक्री 23 फीसदी गिरकर 1,09,159 यूनिट पर आ गई है। वहीं, नए घरों के लॉन्च में भी 46 फीसदी की कमी देखने को मिली है। यह सभी खुलासे नाइट फ्रैंक की रिपोर्ट में किए गए है। रिपोर्ट के मुताबिक, साल 2016 के चौथे क्वार्टर (अक्टूबर-दिसंबर तिमाही) में सबसे ज्यादा बिक्री गिरी है। इसके अलावा दक्षिण भारत के प्रमुख शहर बैंग्लुरू में भी पहली बार घरों की बिक्री में गिरावट देखने को मिली है।
NCR और मुंबई में सेल्स सबसे ज्यादा गिरी
- 8 बड़े शहरों में NCR (नेशनल कैपिटल रीजन) यानी दिल्ली और उसके आप-पास के इलाकों में बिक्री सबसे ज्यादा गिरी है।
- दिल्ली NCR में तो बाजार की हालत इतनी पतली हो गई कि बिल्डरों ने नए प्रोजेक्ट लॉन्च ही नहीं किए।
- यहां न्यू लॉन्च में 73 फीसदी की गिरावट हुई। यहां बिक्री में तकरीबन 29 फीसदी की कमी दर्ज की गई।
- नाइट फ्रैंक की रिपोर्ट के अनुसार 2016 में बिक्री ग्लोबल फाइनेंशियल क्राइसिस (ग्लोबल मंदी) के निचले स्तर पर आ गई है।
दिसंबर क्वार्टर में बिक्री 44% गिरी, नए लॉन्च 61% घटे
- साल 2016 में देश के 8 बड़े शहरों में घरों की बिक्री 9 फीसदी गिरी है। जबकि, नोटबंदी के बाद हालात और बदतर हो गए। अक्टूबर-दिसंबर तिमाही में यह 44 फीसदी तक लुढ़क गई। वहीं, इस दौरान नए लॉन्च में 61 फीसदी की कमी आई है।
हुआ 22,600 करोड़ का नुकसान
- नोटबंदी ने रिएल एस्टेट सेक्टर को बड़ा झटका दिया है।
- इसके चलते 22600 करोड़ रुपए का नुकसान हुआ है।
- नाइट फ्रैंक इंडिया की ओर से जारी एक रिपोर्ट ‘इंडिया रिएल एस्टेट’ के मुताबिक, इस फैसले के चलते इंडस्ट्री की बिक्री में तकरीबन 23 फीसदी की गिरावट दर्ज की गई है और 1200 करोड़ का रेवेन्यू लॉस हुआ है।
- रिपोर्ट जुलाई-दिसंबर 2016 के आंकड़ों के आधार पर जारी की गई है।
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